खरसावां. खरसावां प्रखंड के सिमला गांव के लोग पेयजल समस्या से जूझ रहे हैं. करीब दो साल पहले लगी सोलर संचालित तीन जलमीनारों में दो खराब हैं. जलमीनार के सोलर प्लेट उखड़ कर जमीन पर पड़े हैं. तीसरी योजना की टंकी में छेद होने के कारण पानी का भंडारण नहीं हो पा रहा है. गांव के करीब 180 परिवार (घरों) में जलापूर्ति नहीं हो रही है. गांव के तीन चापाकलों में दो खराब है. ग्रामीणों को पानी के लिए हर दिन जूझना पड़ रहा है. एक चापाकल व कुआं पर पानी के लिए लंबी कतार लग रही है. सिमला गांव में दो तालाब हैं. इसमें ग्रामीण नहाने, कपड़े धोने व मवेशियों को पानी पिलाते हैं. दोनों तालाब भी सूखने के कगार पर हैं.
जलमीनार की मरम्मत को लेकर ग्रामीणों ने किया प्रदर्शन
सिमला गांव के ग्राम प्रधान प्रवीर सिंहदेव व ग्रामीणों ने प्रशासन से खराब जलमीनारों की मरम्मत कराने की मांग की. ग्रामीणों गांव में डेगची-बाल्टी के साथ प्रदर्शन किया. कई बार पीएचइडी विभाग के कार्यालय में शिकायत की गयी, लेकिन मरम्मत नहीं हुई. मौके पर केतन कैवर्त, गुरुचरण माहली, वीर सिंह जोंको, गांधी महतो, संतोष कैवर्त, विनय महतो, संतोष पुथाल, भीम महतो, उर्द्धव महतो, शकुंतला नायक, सुभाषिनी महतो, झुरी महतो, विनोदिनी महतो मीरा नायक आदि मौजूद रहे.
क्या कहते हैं ग्रामीण
– प्रवीर सिंहदेव, ग्राम प्रधान सिमला गर्मी में हर साल पानी के लिए परेशानी उठानी पड़ती है. चापाकल पर लाइन लगानी पड़ती है. जलापूर्ति योजना को चालू कराने की दिशा में पहल हो.
जलमीनार खराब होने से घरेलू जलापूर्ति बाधित है. जल्द मरम्मत हो, ताकि गर्मी के दिनों में ग्रामीणों को परेशानी का सामना करना नहीं पड़े.
सिमला में ग्रामीणों को पानी नहीं मिल रहा है. शुरुआत में जलापूर्ति ठीक रही. बाद में सोलर प्लेट व मशीन में आयी खराब के कारण घरेलू जलापूर्ति नहीं हो पायी.
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