बेतिया . जिला के सरकारी दफ्तर और स्कूल शक्तिशाली सोलर प्लेटों के जरिए अब बिजली उत्पादन भी करेंगे. सरकारी स्तर पर बिजली उत्पादन और खपत का हिसाब लगाने के लिए ही स्कूल और सरकारी कार्यालयों में भी बिजली के पोस्टपेड स्मार्ट मीटर लगाए जा रहे हैं.यही मुख्य कारण है कि सौर ऊर्जा से बिजली उत्पादन योजना को गति देने के लिए सरकारी कनेक्शन के साथ स्मार्ट मीटर का प्रीपेड वाला मोड बदल कर लगाने की नई पहल नॉर्थ बिहार पॉवर डिस्ट्रीब्यूशन कंपनी के द्वारा शुरू हुई है. बिजली आपूर्ति के कार्यपालक अभियंता कार्यालय के अधिकारिक सूत्रों की माने तो बिजली खर्च मद में अनेक विभाग में आवंटन जारी होने में देरी की स्थिति में असहज स्थिति से बचाव के कारण भी पोस्टपेड स्मार्ट मीटर लगाने व्यवस्था को कंपनी के वरीय प्रबंधन स्तर पर विकल्प के रूप में स्वीकार किया गया है. बिजली आपूर्ति सदर डिविजन कार्यालय के आईटी मैनेजर राम प्रवेश बताते हैं कि योजना के प्रथम चरण में सदर डिवीजन क्षेत्र के 2,826 सरकारी उपभोक्ताओं का पोस्टपेड मोड में स्मार्ट मीटर लगाने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है. इसके विरुद्ध अब तक 2,423 को इसकी सुविधा प्रदान कर दी गई है. डिवीजनल आईटी मैनेजर राम प्रवेश ने बताया कि अब सभी प्रकार के सरकारी कार्यालय और आवासीय परिसरों में भी पोस्टपेड स्मार्ट मीटर लगाए जा रहे हैं. इस मोड में लगे स्मार्ट मीटरों में बिजली का उपयोग करने के बाद भुगतान किया जाता है. आईटी मैनेजर राम प्रवेश ने बताया कि इसका एक कारण यह भी है कि हमारी कंपनी द्वारा लगाए गए स्मार्ट मीटर संबंधित कनेक्शन वाले परिसर में सौर ऊर्जा उत्पादन और इस्तेमाल के साथ बची हुई बिजली की जानकारी देते हैं.यदि अधिक बिजली बचती है, तो यह बिजली कंपनी को चली जाती है और बाद में उपयोग के लिए उपलब्ध होती है, जिससे उपभोक्ताओं को पोस्टपेड जैसी सुविधा मिलती है. उन्होंने बताया कि सरकारी कार्यालय भवनों और आवासीय परिसरों में सौर ऊर्जा आधारित बिजली उत्पादन का संयंत्र स्थापित करने की जिम्मेदारी सरकार द्वारा ब्रेडा कंपनी को सौंपी गई है.
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