पटमदा. दलमा के सोमाडीह व कोयरा गांव से सटे जंगल से पेड़ों को काट कर बेचा जा रहा है, लेकिन वन विभाग बेखबर है. शुक्रवार को मामले का खुलासा तब हुआ, जब ग्रामीणों ने खुद से एक ट्रैक्टर पर लदी लकड़ी को पकड़ा. ग्रामीणों के अनुसार, पिछले कई दिनों से रात के अंधेरे में जंगल से लकड़ी ले जाने का काम किया जा रहा था. तस्करों द्वारा शुक्रवार शाम में भी ट्रैक्टर पर लाद कर लकड़ी ले जायी जा रही थी. इसकी जानकारी मिलने पर ट्रैक्टर को सोमाडीह में पकड़ लिया, उस पर साल का 25 बोटा (लकड़ी का बड़ा टुकड़ा) लदा था. ग्रामीणों को देखते ही तस्कर भाग गये. ग्रामीणों ने ट्रैक्टर को अपने कब्जे में लिया और वन विभाग के अधिकारी को सूचना दी. इसके बाद वन विभाग की टीम मौके पर पहुंची और ट्रैक्टर पर लदी लकड़ियों को जब्त किया. हालांकि, इस दौरान ग्रामीणों और वन विभाग की टीम में तीखी बहस भी हुई. ग्रामीणों का कहना था कि लगातार जंगल से लकड़ी काटी जा रही है. 25-30 वर्ष पुराने बड़े-बड़े पेड़ काटे जा रहे हैं, लेकिन वन विभाग के कर्मी देखने तक नहीं आते हैं. रात के अंधेरे में तस्कर अपना काम बेधड़क जारी रखते हैं. वन विभाग की टीम ने ग्रामीणों को समझाया. मौके पर मौजूद वनपाल राजा घोष ने आश्वासन दिया कि इस मामले में कड़ी से कड़ी कार्रवाई की जाएगी. ग्रामीणों के मुताबिक, एक ट्रैक्टर लकड़ी की अनुमानित कीमत करीब एक लाख रुपये होगी.
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