सरकार के पास विजन नहीं
अखिलेश यादव ने कहा कि सरकार के पास कोई विजन नहीं, पैसा होने के बाद भी काम नहीं हो रहा है. उन्होंने कहा कि स्मार्ट सिटी का सपना दिखाया था क्या इस सप्लीमेंट्री बजट में स्मार्ट सिटी का कहीं स्थान है? मुझे तो यह लगता है कि पांच साल का वह कार्यकाल और लगभग दो साल पूरे होने जा रहे हैं, यह सरकार खुद महसूस कर गई है कि अब वो स्मार्ट सिटी नहीं बन सकती. उन्होंने कहा कि जब मुख्य बजट से डेवलपमेंट नहीं हुआ तो यह सप्लीमेंट्री बजट से कौन सा डेवलपमेंट हो जाएगा. जब आपके बजट की तुलना होती और प्रदेशों से तो 18वां स्थान है आपका. यह आंकड़े हम विपक्ष के लोगों के नहीं हैं. नेता विरोधी दल ने कहा कि इस सरकार ने कोई भी एक जिला अस्पताल नहीं बनाया, जिसमें गरीबों को पूरा इलाज मिल जाए. ना नया बनाया ना पुराने अस्पतालों में सुधार किया. उसका परिणाम यह है कि गरीब को मजबूरी में प्राइवेट अस्पताल में जाना पड़ रहा है.
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सड़कों में गड्ढे हैं गड्ढों में है सड़क
अखिलेश यादव ने कहा कि इस सरकार ने कोई भी एक जिला अस्पताल नहीं बनाया जिसमें गरीबों को पूरा इलाज मिल जाए. ना नया बनाया ना पुराने अस्पतालों में सुधार किया. उसका परिणाम यह है कि गरीब को मजबूरी में प्राइवेट अस्पताल में जाना पड़ रहा है. उन्होंने कहा कि सड़कों में गड्ढे हैं गड्ढों में सड़क है, सरकार हिस्टोरिकल लूट कर रही है. पीडब्ल्यूडी विभाग में मंत्री के बनने के बाद तुरंत खेल हो गया सरकार की नजर पड़ गई तो थोड़ा बहुत बचा होगा. सरकार बताए कि आप मेंटेनेंस और गड्ढा मुक्ति के लिए कितना पैसा खर्च कर रहे हैं.
घोड़ा समझ लेता है घुड़सवार कैसा है
नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि जो सरकारी कहती थी कि समाजवादी सरकार में बनाया गया एक्सप्रेसवे घाटे का है. आज नेता सदन बताएं कि उनके पूर्वांचल और बुंदेलखंड एक्सप्रेसवे घाटे का है कि फायदे का है. आज भी इतने वर्षों के बाद अगर सबसे अच्छी राइडिंग क्वालिटी किसी एक्सप्रेसवे की है तो वह समाजवादियों का बनाया गया एक्सप्रेसवे है. अखिलेश यादव ने कहा कि घोड़ा समझ लेता है घुड़सवार कैसा है. अधिकारी भी समझ गए हैं कि सरकार कैसी है. इसलिए आपके कंट्रोल में चीजे नहीं हैं. उन्होंने कहा कि महंगाई कहां पहुंच गई है.आखिरकार इसका मुनाफा कहां जा रहा है, किसकी जेब में जा रहा है.
सप्लीमेंट्री बजट में किसान के लिए कुछ नहीं
उन्होंने कहा कि गोवंश भूखे मर रहे हैं क्योंकि गोशालाओं के नाम पर योगी सरकार में सिर्फ भ्रष्टाचार हो रहा है, केवल लूट हो रही है. इसको चलाने वाले लोग भाजपा से जुड़े लोग हैं और अधिकारी मिलकर चारा पानी तक खा पी जा रहे हैं. बाजारों में सांड, सड़कों पर सांड, खेतों में सांड, किसान की कितनी जान जा चुकी है. उन्होंने कहा कि आज सात साल पूरे होने वाले हैं, बताइए सरकार को बिजली का कोटा उत्तर प्रदेश में कितना बढ़कर मिला? जो मेट्रो चल रही है सब समाजवादियों की देन है. मुख्यमंत्री आप अपने यहां तो मेट्रो बना लो कहीं मेट्रो वाली बात वैसी तो नहीं है 46 में 56 वाली बात जैसी. उन्होंने कहा कि जो यहां पर खेती करने वाले लोग हैं अगर कहीं धान खरीदा गया हो तो बता दो. जहां पर धान खरीद हो रही है वहां पर लगाइए सीसीटीवी क्यों नहीं लगाते हैं आप क्यों ट्रांस्पायरेसी नहीं चाहते हैं, क्यों कुछ ही लोगों से पूरा धन खरीदना चाहते हैं. सरकार ने किसानों की एक मंडी बनाई हो तो बता दे. इस सप्लीमेंट्री बजट में किसान के लिए क्या है.
बीजेपी के लोग भी जातीय जनगणना में खड़े होंगे
इस दौरान अखिलेश यादव ने कहा कि 41 मजदूर जो फंसे थे उनकी जान बची और उनको बचाने में जो जो एजेंसी थी उनको बधाई, उनका धन्यवाद। लेकिन सबसे ज्यादा धन्यवाद और बधाई उन मजदूरों को जो रैट माइनर्स हैं, जो उस पाइप में घुसकर गए और उन्हें बचा कर लेकर आए. ट्रिलियन इकोनॉमी का सपना दिखाने वाले, बड़ी-बड़ी डींगे हाकने वाले लोग क्या उन परिवारों की मदद नहीं करेंगे आप. उन्होंने एक घटना का जिक्र करते हुए कहा कि एक गरीब किसान से बीजेपी के लोगों ने जमीन लिखवा ली, छह करोड़ का उसको चेक दे दिया उसके बाद कहा कि चेक में कुछ गड़बड़ी है वापस दे दो, उसका चेक फाड़ कर फेंक दिया. वह भटकता रहा, पुलिस पर गया कोई अधिकारी नहीं बच्चा जिसका दरवाजा नहीं खटखटाया हो लेकिन उसको न्याय नहीं मिला और मजबूरी में उसने आत्महत्या कर ली. अखिलेश यादव ने कहा कि पूरा देश चाहता है कि जातीय जनगणना हो. अंततोगत्वा यह बीजेपी के लोग भी जातीय जनगणना में खड़े हो जाएंगे देखिएगा यह समय आएगा कि बीजेपी के लोग भी कहेंगे कि जातीय जनगणना होनी चाहिए.