28.3 C
Ranchi

लेटेस्ट वीडियो

भारत ने चीन के निवेशकों को दिया आमंत्रण, अनुकूल माहौल का भरोसा दिलाया

ग्वांगझू : भारत ने आज चीन के निवेशकों को अनुकूल वातावरण का भरोसा दिलाते हुए उन्हें सरकार के ‘मेक इन इंडिया’ और अन्य प्रमुख कार्यक्रमों में भागीदारी के लिए आमंत्रित किया है. इससे द्विपक्षीय व्यापार को बढाने में मदद मिलेगी. राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी ने अपनी चीन की चार दिवसीय यात्रा के दूसरे दिन भारत-चीन व्यापार […]

ग्वांगझू : भारत ने आज चीन के निवेशकों को अनुकूल वातावरण का भरोसा दिलाते हुए उन्हें सरकार के ‘मेक इन इंडिया’ और अन्य प्रमुख कार्यक्रमों में भागीदारी के लिए आमंत्रित किया है. इससे द्विपक्षीय व्यापार को बढाने में मदद मिलेगी. राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी ने अपनी चीन की चार दिवसीय यात्रा के दूसरे दिन भारत-चीन व्यापार मंच की बैठक को संबोधित करते हुए कहा, ‘हम भारत में आपके निवेश को मुनाफे वाला बनाने में मदद करेंगे. हमें निश्चित रूप से दोनों देशों की अर्थव्यवस्थाओं की वृद्धि से पैदा होने वाले अवसरों का लाभ उठाना चाहिए.’

इस बैठक में दोनों देशों के उद्योगपति तथा कारोबारी शामिल हुए. राष्ट्रपति ने कहा कि हम चीन के बाजार में भारतीय उत्पादों की अधिक पहुंच चाहते हैं जिससे द्विपक्षीय व्यापार में संतुलन लाया जा सके, जो अभी चीन के पक्ष में झुका हुआ है. उन्होंने कहा कि यह विशेष रूप से उन क्षेत्रों में जरुरी है जहां दोनों देश स्वाभाविक तरीके से एक-दूसरे के पूरक हैं. इन क्षेत्रों में फार्मा, आईटी और आईटी संबद्ध सेवाएं और कृषि उत्पाद शामिल हैं.

मुखर्जी ने इस बात पर संतोष जताया कि दोतरफा निवेश प्रवाह पर ध्यान बढाया जा रहा है. राष्ट्रपति मुखर्जी ने इस बात का जिक्र किया कि इस सदी की शुरुआत से ही भारत-चीन के बीच द्विपक्षीय व्यापार लगातार बढ रहा है. वर्ष 2000 में जहां यह 2.91 अरब डालर था, वहीं पिछले साल यह 71 अरब डालर पर पहुंच गया. ग्वांगदोन प्रांत की 1,000 अरब डालर की अर्थव्यवस्था है जहां बडे विनिर्माण और अन्य उद्योग स्थित हैं. इसे चीन का निर्यात का ‘पावर हाउस’ भी कहा जाता है.

गुजरात और महाराष्ट्र के साथ इस प्रांत का करीबी रिश्ता है. पिछले साल शेन्जेन तथा गुजरात अंतरराष्ट्रीय वित्त टेक-सिटी-गुजरात के बीच पायलट स्मार्ट शहर सहयोग परियोजना की घोषणा की गयी थी. राष्ट्रपति ने ग्वांगदोन और कांचीपुरम के बीच ईस्वी सन से पहले, सीधे समुद्री मार्ग से दूसरी सदी के संपर्कों का जिक्र करते हुए कहा कि यह भारत और चीन के लिए अपने पुराने संपर्कों को मजबूत करने और नए रिश्तों के लिए हाथ मिलाने का एक शानदार समय है.

मुखर्जी ने इस बात को रेखांकित किया कि भारत अब करीब एक दशक से प्रत्येक वर्ष 7.6 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज कर रहा है. इसके साथ ही उन्होंने जोडा कि भारत का मानना है कि वह अकेले आगे नहीं बढ सकता. उन्होंने कहा कि आज एक-दूसरे से पूरी तरह जुड चुकी दुनिया में भारत विभिन्न देशों में प्रौद्योगिकी क्षेत्र में हुई प्रगति तथा सर्वश्रेष्ठ व्यवहार का लाभ लेना चाहता है.

उन्होंने कहा, ‘हमारी अर्थव्यवस्था के महत्वपूर्ण क्षेत्रों में जो व्यापक सुधार आगे बढाए गए हैं उनसे भारत में कारोबार करने की स्थिति सुगम हुई है. हमारी विदेशी निवेश व्यवस्था को उदार किया गया है. इसके लिए सरलीकृत प्रक्रियाओं को अपनाया गया है. विदेशी निवेश से अंकुश हटाया गया है.’

Disclaimer: शेयर बाजार से संबंधित किसी भी खरीद-बिक्री के लिए प्रभात खबर कोई सुझाव नहीं देता. हम बाजार से जुड़े विश्लेषण मार्केट एक्सपर्ट्स और ब्रोकिंग कंपनियों के हवाले से प्रकाशित करते हैं. लेकिन प्रमाणित विशेषज्ञों से परामर्श के बाद ही बाजार से जुड़े निर्णय करें.

Prabhat Khabar Digital Desk
Prabhat Khabar Digital Desk
यह प्रभात खबर का डिजिटल न्यूज डेस्क है। इसमें प्रभात खबर के डिजिटल टीम के साथियों की रूटीन खबरें प्रकाशित होती हैं।

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

संबंधित ख़बरें

Trending News

जरूर पढ़ें

वायरल खबरें

ऐप पर पढें
होम आप का शहर
News Snap News Reel