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कानून से खुद को ऊपर समझते हैं राहुल- अर्जुन राम मेघवाल
केंद्रीय मंत्री अर्जुन राम मेघवाल ने कांग्रेस नेता राहुल गांधी की सूरत कोर्ट की ओर से खारिज की गई याचिका पर कहा है कि हमने हमेशा कहा है कि राहुल गांधी खुद को कानून से ऊपर समझने लगे है, और उनकी पार्टी के कुछ लोगों ने यह भी पूछा कि उन्हें विशेष दर्जा क्यों नहीं मिल रहा है.
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सांसद होना दोषसिद्धि को निलंबित करने का आधार नहीं
सूरत कोर्ट की ओर से खारिज की गई राहुल गांधी की याचिका पर पूर्णेश मोदी के वकील हर्षित तोलिया ने कहा कि अदालत ने कहा है कि यह कोई असाधारण मामला नहीं है. शिकायतकर्ता के पास पर्याप्त मामला बनता है. केवल एक सांसद होना दोषसिद्धि को निलंबित करने का आधार नहीं है. यह भी न्यायाधीश द्वारा देखा जाता है. सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर भरोसा करते हुए आरोपी के खिलाफ लंबित आपराधिक मामलों को भी ध्यान में रखा जाता है.
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बरकरार रहेगी राहुल की सजा
मानहानि मामले में राहुल ने निचली अदालत के आदेश के खिलाफ तीन अप्रैल को सत्र अदालत का रुख किया था. उनके वकीलों ने दो आवेदन भी दाखिल किये जिनमें एक सजा पर रोक के लिए और दूसरा अपील के निस्तारण तक दोषी ठहराये जाने पर स्थगन के लिए था. बीते 23 मार्च को सूरत की एक अदालत ने भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के विधायक पूर्णेश मोदी की ओर से दायर आपराधिक मानहानि के मामले में राहुल गांधी को दोषी करार दिया था और दो साल के कारावास की सजा सुनाई थी. सजा मिलेने के एक दिन बाद राहुल को लोकसभा की सदस्यता से अयोग्य करार दिया गया था.
Rahul Gandhi Verdict Live: खारिज हुआ केस
मोदी सरनेम विवाद मामले में राहुल गांधी को मिली सजा बरकरार रहेगी. सेशंस कोर्ट के जज जस्टिस रॉबिन मोघेरा ने आज यानी गुरुवार को फैसला सुनाया. उन्होंने राहुल गांधी को मिलने वाली 2 साल की सजा में कोई राहत नहीं दी है. अब राहुल गांधी को अपना पक्ष लेकर गुजरात हाईकोर्ट में जाना होगा. बता दें, कांग्रेस कल यानी शुक्रवार को अहमदाबाद हाईकोर्ट में याचिका दायर करेगी.
Rahul Gandhi Verdict Live: कल हाईकोर्ट में अर्जी देंगे राहुल
सूरत सेशंस कोर्ट में राहुल गांधी की याचिका खारिज हो गई है. इसका मतलब है निचली अदालत से मिली उनकी सजा बरकरार रहेगी. वहीं, वहीं सेशंस कोर्ट के बाद राहुल गांधी गुजरात हाईकोर्ट जाने की बात कर रहे हैं.
Modi Surname: सूरत कोर्ट से याचिका खारिज होने के बाद राहुल गांधी के पास अब क्या है रास्ता?