भभुआ सदर. व्यापार में अच्छे रिटर्न का भरोसा देकर एक व्यक्ति से 31 लाख रुपये की जालसाजी के मामले में साइबर थाने की पुलिस ने लखनऊ से एक आरोपित को गिरफ्तार किया है. साथ ही पकड़े गये आरोपी काे पुलिस ने शनिवार को मेडिकल जांच कराने के बाद न्यायिक हिरासत में भेज दिया है. धराया आरोपित लखनऊ के बक्शी का तालाब निवासी कृष्ण कुमार का बेटा रंजीत रावत बताया जाता है. इसकी जानकारी देते हुए पुलिस उपाधीक्षक सह साइबर थाना अध्यक्ष अनिकेत अमर ने बताया कि कुदरा निवासी अभिषेक कुमार ने एक जुलाई को साइबर थाने में आवेदन दे बताया था कि टेलीग्राम के माध्यम से उससे एक व्यक्ति ने संपर्क किया और कहा कि उनके साथ व्यापार करें, उसे अच्छा रिटर्न देगा. इसके बाद युवक ने उसकी बातों में आकर शुरू में कुछ रुपये इन्वेस्ट किया, तो उसे साइबर अपराधी ने अच्छा लाभ दिया. साथ ही इसके बाद साइबर अपराधियों ने युवक से इसी प्रकार से पांच से छह दिन के अंदर अलग-अलग जगहों के 22 बैंक खातों में 31 लाख रुपये ले लिये़ लेकिन, इसके बाद रिटर्न देने की जगह साइबर अपराधियों ने अपना संपर्क नंबर बंद कर दिया. साइबर डीएसपी अनिकेत अमर ने बताया कि इसी मामले के अनुसंधान के दौरान एक आरोपित को लखनऊ के बक्शी का तालाब से गिरफ्तार किया गया है. पकड़े गये आरोपित के बैंक खाते में साइबर अपराधी ने चार लाख रुपये मंगवाये थे, जिसके आधार पर उसे पकड़ा गया है. = अपने बैंक खाते में पैसे डलवाने में धराया युवक साइबर डीएसपी के अनुसार युवक लखनऊ में एक डाटा केंद्र चलाता है. साइबर अपराधी द्वारा कुदरा निवासी युवक से जब जालसाजी की गयी थी, तो उसके द्वारा परिचित रहे और धराये युवक के बैंक खाते में चार लाख रुपये डलवाये गये थे. रुपये आने के बाद पकड़े गये आरोपित ने उसे निकालकर उसी परिचित युवक को सौंप दिया था. = बिना जांचे-परखे किसी भी व्यक्ति के रुपये अपने बैंक खाते में नहीं डलवाएं साइबर डीएसपी ने लोगों से भी अपील करते हुए बताया कि अक्सर लोग बिना जांचे-परखे किसी भी परिचित के रुपये अपने बैंक खाते में मंगवा लेते है, जो गलत है. क्योंकि कई परिचित ऐसे भी होते है जिनके कार्यकलाप की जानकारी नहीं रहती है. अगर ऐसे लोग साइबर अपराधी रहे, तो ऐसे ही परिचित लोगों के बैंक खातों का उपयोग करते है. इसके बदले में साइबर अपराधी कुछ रकम भी बैंक खाताधारी को भी दे देते है. लेकिन, जब तक लोग परिचित के द्वारा बैंक के खाते में रुपये मंगाने की गहराई में जाते हैं, तब तक वह साइबर अपराध के सहयोगी के रूप में चिह्नित हो जाते हैं और पुलिसिया कार्रवाई के जद में आ जाते हैं. = मामले के अन्य आरोपितों को भी जल्द पकड़ा जायेगा साइबर डीएसपी ने बताया कि पकड़े गये युवक से पूछताछ में कुछ नाम सामने आये हैं, जिन्हें पकड़ने का प्रयास किया जा रहा है. मामले के मुख्य आरोपी सहित अन्य की जल्द ही गिरफ्तारी होगी.
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