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Fire Fighting: कैसे बुझायी जाती है बड़े-बड़े बिल्डिंग में लगी आग, फायरफाइटर्स की क्या होती है भूमिका

पटना के एक होटल में आज सुबह आग लग गयी, जिसमें छह लोगों की जान चली गयी है. वहीं, इस दुर्घटना में दर्जनों लोगों के घायल होने की सूचना है. जानें ऐसी आगजनी की स्थिति से कैसे निबटते हैं फायरफाइटर्स.

Fire Fighting: गर्मी की शुरुआत के साथ ही आग लगने की घटनाएं होने लगती हैं. ऐसे में सबसे जरूरी है कि आग बुझाने के सामान्य तरीकों की जानकारी सभी को होनी चाहिए, ताकि ऐसे किसी भी हादसे की स्थिति में तुरंत बचाव किया जा सके.

क्यों बुझती है पानी से आग

जब भी कहीं आग लगती है, तो सबसे पहले आपको पानी ही याद आता होगा. पानी से आग बुझाने की क्रिया को समझने से पहले यह जानना जरूरी है कि आग लगती कैसे है? आग लगने के लिए तीन चीजें जरूरी हैं. ज्वलनशील चीजें, ऑक्सीजन और गर्मी. यदि ऑक्सीजन का आग लगने वाली जगह तक पहुंचना बंद कर दिया जाये तो आग बुझ जायेगी. आग के ऊपर पानी डालने से ईंधन का तापमान उसके ज्वलनांक से कम हो जाता है. चूंकि इस दौरान पानी गर्मी को सोख लेता है. यही कारण है कि आग पर पानी डालने से यह बुझ जाती है, लेकिन पानी वह आग नहीं बुझा पाता जो तेल या ग्रीस में लगी हो, क्योंकि ये पदार्थ पानी से हल्के होते हैं. पानी डालने पर ये पानी के ऊपर तैरने लगते हैं और जलते ही रहते हैं. इस प्रकार की आग बुझाने के लिए दूसरे प्रकार के अग्निशामक प्रयोग में लाये जाते हैं. इसके लिए पानी में फोम मिलाकर उसका छिडकाव आग के ऊपर किया जाता है. फोम आग के ऊपर एक घना आवरण बना कर उसका संपर्क आसपास की हवा से काट देता है, जिससे उसे ऑक्सीजन नहीं मिल पाता और आग बुझ जाती है.

अग्निशामक यंत्र के रसायन

प्रारंभिक आग को बुझाने के लिए यंत्र मिलते हैं, जिनमें सोडे (सोडियम कार्बोनेट) का घोल और एक शीशी में अम्ल भरा रहता है. बर्तन में एक खूंटी रहती है, जिसे ठोंकने पर वह भीतर घुसकर अम्ल की शीशी को तोड़ देती है और अम्ल सोडे के घोल में पहुंचकर कार्बन डाइआक्साइड बनाता है. इसके दाब से घोल की धार तेजी से निकलती है और आग को बुझाती है. अधिक अच्छे आग बुझाने वाले यंत्रों से झाग जैसे कार्बन डाइआक्साइड गैस के बुलबुले निकलते हैं. यह जलती हुई वस्तु पर पहुंचकर उस पर छा जाती है, जिससे आक्सीजन की कमी के कारण आग बुझ जाती है.

फायर फाइटर कैसे बुझाते हैं आग

फायर फाइटिंग के काम को तीन भागों में बांट दिया गया है. पहले तरीके में आग से सुरक्षा को प्राथमिकता दी जाती है, इसमें आग लगने से पहले ही उसे बुझाने के सारे उपाय कर दिये जाते हैं. दूसरे तरीके में आग लगना शुरू होने के बाद उसे बुझाने की कोशिश होती है. तीसरे तरीके में स्थिति काफी बिगड़ चुकी होती है और आग पर काबू पाना काफी मुश्किल हो जाने के कारण फायरफाइटर्स इसमें फंसे लोगों की जान बचाने की कोशिश करते हैं. अब इन कामों के लिए नयी-नयी तकनीकों का इस्तेमाल किया जा रहा है जिससे फायरफाइटर्स की भी सुरक्षा सुनिश्चित होती है.

फायरफाइटिंग हेलमेट की खासियत

सी-थ्रू फायरफाइटिंग हेलमेट में कई तरह की तकनीकें शामिल होती हैं, जो इसे काफी हद तक एक फाइटर पायलट के हेलमेट की तरह बनाती हैं. इसमें सामने की तरफ लगे लेंस पर कई तरह की इन्फोर्मेशन जैसे तापमान, ऑक्सीजन और कार्बनडाइऑक्साइड की मात्रा आदि प्रोजेक्टेड होती रहती है, जिससे आग से लड़ने में मदद मिलती है. इसके अलावा एक थर्मल इमेजिंग कैमरा भी इसमें लगा होता है, जिसकी मदद से धुंए में भी सब कुछ साफ-साफ देखा जा सकता है.

2 मिनट में आग बुझाता है रोजनबर्ग पैंथर

विमानों की लैंडिंग के समय कई बार टायर फटने से दुर्घटनावश आग लगने जैसी घटनाएं होती हैं. ऐसे में यात्रियों के बचाव के लिए तुरंत आग पर काबू पाना जरूरी हो जाता है. दुनियाभर के बड़े एयरपोर्ट्स पर इसके लिए रोजनबर्ग पैंथर फायर ब्रिगेड का इस्तेमाल किया जाने लगा है. इसके तीन चैंबर में पानी, फोम और ड्राइ केमिकल पाउडर भरा रहता है. जरूरत के अनुसार, इनका तेजी से छिडकाव कर यह तुरंत आग बुझाने में सक्षम है. फ्यूल से लगने वाली आग से भी निपटने में यह सक्षम है.

कैसे होते हैं आग बुझाने वाले ग्रेनेड्स

यह आग बुझाने का काफी पुराना तरीका है, जिसे नए रूप में लाया गया है. पहले शीशे के गोलाकार बोतलों में नमक वाला पानी भरकर उसे आग पर फेंका जाता था, जिससे आग बुझती थी. अब इसमें पानी की जगह तेजी से आग बुझाने वाले कंपाउंड्स जैसे कार्बन टेट्राक्लोराइड आदि का इस्तेमाल हो रहा है. इन ग्रेनेड्स को फायर सेंसिटिव जोन में रखा जाता है. आग की गर्मी पाते ही ये खुद ही बाहर आकर गिर कर टूट जाते हैं और इसमें भरे कंपाउंड्स बाहर आने से आग बुझ जाती है.

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Vivekanand Singh
Vivekanand Singh
Journalist with over 11 years of experience in both Print and Digital Media. Specializes in Feature Writing. For several years, he has been curating and editing the weekly feature sections Bal Prabhat and Healthy Life for Prabhat Khabar. Vivekanand is a recipient of the prestigious IIMCAA Award for Print Production in 2019. Passionate about Political storytelling that connects power to people.

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