25.7 C
Ranchi

लेटेस्ट वीडियो

BPSC 2023 में झारखंड की बेटी को तीसरी रैंक, महज 8 महीने की तैयारी में मिली सफलता, बताया सक्सेस मंत्र

बिहार लोक सेवा आयोग की परीक्षा में झारखंड की बेटी अंकिता चौधरी ने परचम लहराया है. महज 8 महीने की तैयारी और पहले प्रयास में ही अंकिता ने यह सफलता हासिल की है. प्रभात खबर से बातचीत में अंकिता ने अपना सक्सेस मंत्र बताया है.

गांधीनगर, बेरमो (बोकारो) संजय : बिहार लोक सेवा आयोग में बेरमो कोयलांचल की बेटी ने परचम लहराया है. बैदकारो पूर्वी पंचायत के चलकरी कॉलोनी निवासी शिक्षक विनोद चौधरी की इकलौती बेटी अंकिता चौधरी ने बिहार लोक सेवा आयोग की परीक्षा में अपने पहले ही प्रयास में तीसरा स्थान प्राप्त किया है. उन्हें बिहार प्रशासनिक सेवा मिला है. अंकिता बिहार के सुल्तानगंज में बीपीएम के पद पर भी कार्य कर चुकी हैं. शनिवार शाम को जैसे ही 67वीं बीपीएससी का रिजल्ट घोषित हुआ, तो अंकिता के परिजनों में खुशी की लहर दौड़ गई. उनके चलकरी कॉलोनी स्थित आवास में बधाई देने वालों का तांता लग गया. अंकिता के बड़े चाचा मनोज चौधरी सीसीएल के कारो परियोजना में कार्यरत हैं. वही अंकिता की माता सुचिता चौधरी गृहणी हैं. अंकिता के दादा स्व भेषधारी चौधरी क्षेत्र के एक प्रतिष्ठित व्यक्ति थे, उनके चाचा ललन चौधरी, विजय चौधरी सहित सभी परिजन काफी खुश हैं. अंकिता का मूल रूप से बिहार के खगड़िया जिला में परबता थाना के नयागांव में है.

प्रभात खबर से बातचीत के दौरान अंकिता ने क्या-क्या बताया :

  • यह मेरा पहला प्रयास था, जिसमें मुझे सफलता मिली है. मैं बीपीएससी 68वीं की मेंस और 69वीं की प्रारंभिक परीक्षा भी दी है, जिसके रिजल्ट का इंतजार कर रही हूं.

  • मैंने इस परीक्षा के लिए आठ महीने पहले ही तैयारी शुरू की. 3 महीना प्रारंभिक परीक्षा के लिए मिला था, 2 महीने का टाइम मेंस के लिए था. उसी में मैंने तैयारी की मेंस से इंटरव्यू तक का समय बहुत ही लंबा था. इंटरव्यू तक के लिए बहुत ही मन को शांत रखते हुए तैयारी की थी.

  • ज्यादातर सेल्फ स्टडी किया, कुछ कोचिंग मैटेरियल ऑनलाइन लिया था. एक दो टेस्ट सीरीज में मैंने इनरोल किया था.

  • पूरे परिवार के लोगों ने मुझे प्रेरित किया, हिम्मत बंधाया जिसके बदौलत मैंने आज यह मुकाम हासिल किया है. मेरी उपलब्धि का श्रेय किसी एक व्यक्ति को नहीं बल्कि पूरे परिवार को जाता है, जिन्होंने मुझे संघर्ष करना सिखाया. मेरे दादा ने शुरू से हम बच्चों को श्रम करने के लिए प्रेरित किया, मैंने अपने चाचा और पिता को भी संघर्ष करते देखा, जिससे मुझे प्रेरणा मिली.

  • मुझे प्रशासनिक सेवा में आने की प्रेरणा उस वक्त मिली, जब मैं जीविका में बीपीएम के पद पर कार्य कर रही थी, वहां महिलाओं के लिए काम करने का अवसर मिला. वहीं से मुझे प्रेरणा मिली कि मैं इस परीक्षा में शामिल होकर सफलता अर्जित करूं, ताकि ज्यादा से ज्यादा लोगों तक पहुंच सकूं.

अंकिता चौधरी ने दिए टिप्स

  • निरंतर परिश्रम करते रहना चाहिए, दिमाग को शांत चित करके अनुशासन के साथ पढ़ाई करने की जरूरत है.

  • जरूरी नहीं है कि आप 10 से 15 घंटे पढ़ाई करें. अगर आप 5 घंटे ही पढ़ाई कर रहे हैं तो एकाग्रचित होकर पूरी डिसिप्लिन के साथ पढ़ाई करें तो सफलता निश्चित रूप से मिलेगी.

  • जिनको सफलता नहीं मिली है, वह भी ज्यादा विचलित नहीं हो और अपने प्रयास को जारी रखें. इस प्रयास में आप स्वयं को हिम्मत तो रखनी ही चाहिए और परिवार वाले भी इन्हें प्रोत्साहित करते रहें.

कृषि और महिला सशक्तिकरण के लिए करना चाहती हैं काम

अंकिता ने बताया कि साल 2012 में उन्होंने कार्मेल स्कूल बोकारो थर्मल से दसवीं की परीक्षा पास की. जिसके बाद वर्ष 2014 में पेन्टाकोस्टल स्कूल बोकारो स्टील सिटी से 12वीं की परीक्षा उत्तीर्ण की. फिर बिरसा कृषि विश्वविद्यालय रांची से एग्रीकल्चर में बीएससी की डिग्री हासिल की, फिर रांची से ही एक्सिस से एमबीए की डिग्री ली. रूरल डेवलपमेंट में गोल्ड मेडल भी मिला था और वर्ष 2020 में यूएस ओएस स्कॉलरशिप भी प्रदान किया गया था. अंकिता ने कहा कि वह कृषि और महिला सशक्तिकरण के लिए काम करना चाहती हैं.

Undefined
Bpsc 2023 में झारखंड की बेटी को तीसरी रैंक, महज 8 महीने की तैयारी में मिली सफलता, बताया सक्सेस मंत्र 3

पिता धनबाद के निरसा में हैं शिक्षक

अंकिता के पिता विनोद चौधरी 2009-10 से मध्य विद्यालय गांधीनगर में पारा शिक्षक के पद पर कार्यरत थे. वर्ष 2015 में शिक्षक परीक्षा उत्तीर्ण करने के बाद वह निरसा उत्क्रमित मध्य विद्यालय में शिक्षक के पद स्थापित हुए. विनोद चौधरी ने बताया कि बच्चों को शुरू से मैंने संघर्ष करने की सीख दी, जब मैं पारा शिक्षक हुआ करता था, उस वक्त मैं स्कूल के बाद चंद्रपुरा जंक्शन से ऑटो चलाने का काम भी करता था. इस पूरी जर्नी में हमारे बड़े भाई मनोज चौधरी सहित और परिजनों का भी काफी योगदान रहा. आज बेटी की बीपीएससी सफलता से पूरा परिवार खुश है. एक बेटा है जो सिविल में बीटेक कर निजी कंपनी में कार्यरत है. उन्होंने बताया कि अंकिता के नाना राजबल्लभ सिंह जमशेदपुर में रहते हैं, अंकिता की कक्षा 5 तक की शिक्षा-दिक्षा वहीं से हुई थी.

Also Read: BPSC 67th Result: झारखंड की बेटियों ने बीपीएससी में लहराया परचम, तिलैया की अपेक्षा मोदी को मिली 7वीं रैंक
Jaya Bharti
Jaya Bharti
This is Jaya Bharti, with more than two years of experience in journalistic field. Currently working as a content writer for Prabhat Khabar Digital in Ranchi but belongs to Dhanbad. She has basic knowledge of video editing and thumbnail designing. She also does voice over and anchoring. In short Jaya can do work as a multimedia producer.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

संबंधित ख़बरें

Trending News

जरूर पढ़ें

वायरल खबरें

ऐप पर पढें
होम आप का शहर
News Snap News Reel