रांची (वरीय संवाददाता). मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने कहा कि कृषि को सम्मान के साथ अपनायें और इसे व्यवसाय का रूप दें. अंतरराष्ट्रीय क्रिकेटर महेंद्र सिंह धौनी खेती करके अपने उत्पाद विदेशों में निर्यात कर सकते हैं, तो हम क्यों नहीं. हम तो 24 घंटे खेत-खलिहान में ही रहते हैं. झारखंड आने वाले पांच से सात सालों में दूध, मछली और मुर्गी जैसे उत्पादों में आत्मनिर्भर होगा. श्री सोरेन शुक्रवार को झारखंड मिल्क फेडरेशन के मेधा मिल्क पाउडर प्लांट के शिलान्यास के मौके पर खेलगांव स्थित हरिवंश टाना भगत इंडोर स्टेडियम में आयोजित कार्यक्रम में किसानों को संबाेधित कर रहे थे.
खेती और पशुपालन को अपनायें
मुख्यमंत्री ने कहा कि खेती और पशुपालन को अपनायें. यह लाभकारी व्यवसाय है. पशुधन घर में रहे, तो परिवार का कोई सदस्य कमजोर नहीं रह सकता है. उन्होंने किसानों को आत्मनिर्भर बनने का आह्वान किया. इन कामों में लाभ होता है, नुकसान नहीं. किसानों की आय बढ़ाने के मकसद से सरकार कई योजनायें चला रही है. सरकार धान और दूध की खरीद के साथ-साथ पशुधन का भी बीमा करा रही है. मकसद है कि बीमारी या मृत्यु की स्थिति में किसानों को नुकसान न झेलना पड़े.
मेधा रागी लड्डू लॉन्च
इस दौरान मेधा के नये प्रोडक्ट मेधा रागी लड्डू को भी लॉन्च किया गया. मुख्यमंत्री ने नगड़ी स्थित साइलेज प्लांट, नगड़ी का भी शिलान्यास किया. मदर डेयरी परिसर में फल एवं सब्जियों के बचे हुए अवशेष का इस्तेमाल कर पशुओं के लिए साइलेज बनाया जायेगा. यह झारखंड के किसानों के आर्थिक आय के स्रोत के अलावा पूरे साल पशुओं के लिए पौष्टिक आहार का भी विकल्प बनेगा. इसके अलावा, मुख्यमंत्री ने ऑर्गेनिक खाद मेधा सूधन एवं एनडीडीबी द्वारा विकसित डिस्ट्रीब्यूटर ऐप का भी अनावरण किया. इससे पहले मुख्यमंत्री ने होटवार स्थित मेधा मिल्क पाउडर प्लांट का शिलान्यास किया.
नकली दुग्ध उत्पादों पर जतायी चिंता
मुख्यमंत्री ने बाजार में बिक रहे नकली खोआ और पनीर पर चिंता जतायी. कहा कि प्रदेश में गुणवत्तापूर्ण दूध और दुग्ध उत्पाद मिलने पर नकली सामान खाने की नौबत नहीं आयेगी. प्रदेश में दूग्ध संग्रहण की प्रक्रिया को प्रखंड और पंचायत स्तर तक ले जाने की योजना पर काम चल रहा है. इससे फायदा यह होगा कि किसानों को अपने उत्पाद बेचने में आसानी होगी. साथ ही किसानों की आय में बढ़ोतरी होगी. उन्होंने किसानों से अपील की कि मेहनत से काम करें. साथ ही सरकारी योजनाओं का पूरा लाभ लें.असम और छत्तीसगढ़ पर निर्भरता खत्म होगी : मंत्री
कृषि मंत्री शिल्पी नेहा तिर्की ने कहा कि आज का दिन हमेशा याद किया जायेगा. लगभग 80 करोड़ रुपये की लागत से प्रतिदिन 20 मीट्रिक टन क्षमता वाले इस प्लांट से दुग्ध के अतिरिक्त संग्रहण को मिल्क पाउडर बनाने में मदद मिलेगी. अब तक अतिरिक्त दुग्ध को मिल्क पाउडर में तब्दील करने के लिए असम और छत्तीसगढ़ जैसे राज्य पर निर्भर रहना पड़ता था. अब होटवार प्लांट में ही बन सकेगा. कई गोपालक किसानों को प्रोत्साहन राशि का भुगतान भी मंच से किया गया. मौके पर विधायक सुरेश बैठा, कृषि सचिव अबु बकर सिद्दीक, निदेशक किरण पासी, एनडीडीबी के चेयरमैन डॉ मीनेश शाह, मेधा डेयरी के एमडी जयदेव बिश्वास सहित कई अधिकारी उपस्थित थे.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है