30 C
Ranchi

लेटेस्ट वीडियो

Shattila Ekadashi 2022 Katha: इस दिन मनाई जाएगी षटतिला एकादशी, व्रत के दौरान जरूर पढ़ें ये कथा

Shattila Ekadashi 2022 Katha: माघ चूंकि पावन मास कहलाता है इसलिये इस मास की एकादशियों का भी खास महत्व है. पंचांग के अनुसार माघ मास के कृष्ण पक्ष की एकादशी षटतिला एकादशी कहलाती है.

वैसे तो माघ महीने के हर दिन को पवित्र माना जाता है लेकिन एकादशियों का अपना विशेष महत्व है. हालांकि वर्ष की सभी एकादशियां व्रत, दान-पुण्य आदि के लिये बहुत शुभ होती हैं लेकिन माघ चूंकि पावन मास कहलाता है इसलिये इस मास की एकादशियों का भी खास महत्व है. पंचांग के अनुसार माघ मास के कृष्ण पक्ष की एकादशी षटतिला एकादशी कहलाती है.

2022 में षटतिला एकादशी तिथि व मुहूर्त

वर्ष 2022 में षटतिला एकादशी का व्रत 28 जनवरी को है.

पारण का समय – सुबह 07:11 से 09:20 बजे (29 जनवरी 2022)

एकादशी तिथि प्रारम्भ – जनवरी 28, 2022 को रात 02 बजकर 16 मिनट से

एकादशी तिथि समाप्त – जनवरी 28, 2022 को रात 23 बजकर 34 मिनट तक

षटतिला एकादशी व्रत विधि

एकादशी से एक दिन पहले दशमी की शाम को सूर्यास्त से पहले साधारण भोजन कर लें. इसके बाद कुछ न खाएं. व्रत वाले दिन सुबह जल्दी उठकर तिल को पानी में डालकर स्नान करें. स्नान के दौरान श्री विष्णु का नाम मन में लें. इसके बाद पूजा के स्थान की साफ सफाई करके दीपक जलाएं. भगवान के समक्ष एकादशी व्रत का संकल्प लें. इसके बाद उन्हें चंदन, पुष्प, अक्षत, रोली, धूप, नैवेद्य, तुलसी, पंचामृत आदि अर्पित करें. षटतिला एकादशी व्रत कथा पढ़ें. इसके बाद आरती करें.

भगवान को तिल से बनी चीजों का भोग लगाएं. संभव हो तो निराहार रहकर व्रत रखें, नहीं रह सकें तो एक समय फलाहार ले सकते हैं. तिल का दान करें. तिल मिला हुआ ही पानी पीएं. एकादशी की रात जागरण करके प्रभु के भजन गाएं और उनके मंत्रों का जाप करें. सुबह स्नान करने के बाद किसी ब्राह्मण को भोजन और सामर्थ्य के अनुसार दान दें. इसके बाद अपने व्रत का पारण करें.

षटतिला एकादशी की प्रमुख बातें

1. षटतिला एकादशी के दिन प्रात:काल में तिल वाले जल से स्नान करना चाहिए. इसके लिए आप बाल्टी के पानी में गंगाजल और काला तिल मिला लें, फिर स्नान करें.

2. षटतिला एकादशी के दिन तिल का उबटन लाने की भी परंपरा है. इस एकादशी व्रत में अधिक से अधिक काले तिल का प्रयोग किया जाता है. दरअसल इस समय सर्दी होती है और तिल की तासीर गर्म होती है. तिल का प्रयोग करने से शरीर सेहतमंद रहेगा.

3. षटतिला एकादशी के दिन भगवान विष्णु को पूजा में तिल अर्पित करते हैं और तिल से बने लड्डू और अन्य खाद्य पदार्थों का भोग लगाते हैं.

4. षटतिला एकादशी को किसी गरीब या ब्राह्मण को काला तिल और उससे बने खाद्य पदार्थ दान कर सकते हैं. इससे पुण्य की प्राप्ति होती है.

Prabhat Khabar Digital Desk
Prabhat Khabar Digital Desk
यह प्रभात खबर का डिजिटल न्यूज डेस्क है। इसमें प्रभात खबर के डिजिटल टीम के साथियों की रूटीन खबरें प्रकाशित होती हैं।

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

संबंधित ख़बरें

Trending News

जरूर पढ़ें

वायरल खबरें

ऐप पर पढें
होम आप का शहर
News Snap News Reel