Books Written By Dr Bhimrao Ambedkar in Hindi: “मैं उस धर्म में विश्वास करता हूं जो स्वतंत्रता, समानता और बंधुत्व सिखाता है.” यह पंक्ति डॉ भीमराव अंबेडकर की सोच को दर्शाती है, जो जाति और अन्याय के खिलाफ थ. वे न केवल संविधान के निर्माता थे, बल्कि एक विचारशील लेखक, समाज सुधारक और क्रांतिकारी विचारक भी थे. उनकी रचनाओं ने सदियों से बंधे भारतीय समाज को एक नया दृष्टिकोण दिया. चाहे वह जाति का विनाश हो या बुद्ध और उनका धम्म, उनकी हर किताब सामाजिक परिवर्तन की मशाल है. “अगर हमें एकता बनानी है, तो सबसे पहले जाति का विनाश करना होगा.” यह कथन दर्शाता है कि उनके विचार कितने दूरदर्शी और आवश्यक थे. हर साल 14 अप्रैल को उनकी जयंती सिर्फ एक स्मरण नहीं है, बल्कि उनके विचारों को आत्मसात करने का अवसर है.
Books Written By Dr Bhimrao Ambedkar: हर साल 14 अप्रैल को मनाई जाती है जयंती
डॉ भीमराव अंबेडकर (14 अप्रैल 1891 – 6 दिसंबर 1956) भारतीय समाज के एक महापुरुष थे जिन्होंने समानता, सामाजिक न्याय और मानवाधिकारों की भावना को जागृत किया. वे भारतीय संविधान के निर्माता, महान न्यायविद, अर्थशास्त्री, समाज सुधारक और दलितों के अधिकारों के प्रबल समर्थक थे. उनका पूरा जीवन जाति व्यवस्था के खिलाफ संघर्ष और समाज के कमजोर वर्गों को न्याय दिलाने के लिए समर्पित था. डॉ अंबेडकर की विचारधारा और उनके द्वारा लिखी गई पुस्तकें आज भी हमें सामाजिक परिवर्तन और न्याय की ओर ले जाती हैं. उन्होंने शिक्षा, अर्थशास्त्र, राजनीति, धर्म और सामाजिक सुधार से जुड़े विभिन्न विषयों पर गहन शोध किया और कई महत्वपूर्ण पुस्तकें लिखीं. इस लेख में आइए जानते हैं उनकी उन पुस्तकों के बारे में जो आज भी समानता और सामाजिक न्याय की प्रेरणा देती हैं. यहां उनके द्वरा लिखित 20 पुस्तकों के बारे में बताया जा रहा है.
डॉ भीमराव अंबेडकर द्वारा लिखित पुस्तकें (साल और विषय सहित)
पुस्तक का नाम | वर्ष | विषय |
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Annihilation of Caste | 1936 | जाति व्यवस्था की आलोचना और इसके उन्मूलन पर विचार |
The Buddha and His Dhamma | 1957 (मरणोपरांत) | बौद्ध धर्म के सिद्धांत और अंबेडकर की व्याख्या |
Thoughts on Linguistic States | 1955 | भाषाई आधार पर राज्यों के पुनर्गठन की आवश्यकता |
The Problem of the Rupee: Its Origin and Its Solution | 1923 | भारतीय मुद्रा प्रणाली का इतिहास और सुधार |
Riddles in Hinduism | 1954 | हिंदू धर्म की परंपराओं और मान्यताओं की आलोचना |
Who Were the Shudras? | 1946 | शूद्रों की उत्पत्ति और सामाजिक स्थिति का अध्ययन |
The Untouchables: Who Were They and Why They Became Untouchables? | 1948 | अछूतों की उत्पत्ति और भेदभाव के कारण |
Waiting for a Visa | 1935-36 | आत्मकथात्मक रचना, अंबेडकर के अनुभव |
Pakistan or the Partition of India | 1940 | भारत विभाजन के कारण और प्रभाव |
Thoughts on Ambedkarism | 1950 | समाज सुधार और समतावादी दृष्टिकोण |
The Assassination of Gandhi – Who is Responsible? | 1948 | गांधी की हत्या और उससे जुड़ी परिस्थितियां |
The Evolution of Provincial Finance in British India | 1925 | ब्रिटिश भारत में वित्तीय व्यवस्था का विश्लेषण |
Maharashtra as a Linguistic Province | 1948 | महाराष्ट्र को भाषाई राज्य बनाने की मांग |
Authority and the Indian Constitution | 1948 | भारतीय संविधान की शक्तियों का विश्लेषण |
Myths and Legends in Hinduism | 1955 | हिंदू पौराणिक कथाओं की आलोचना |
Thoughts on Reservation | 1956 | भारत में आरक्षण नीति पर विचार |
The Case for the Excluded India | 1947 | दलितों के अधिकारों की वकालत |
States and Minorities | 1947 | अल्पसंख्यकों के अधिकार और सामाजिक न्याय |
Problems of Small Holdings in India | 1918 | भारतीय कृषि व्यवस्था और छोटे किसानों की समस्याएं |
Revolution and Counter-Revolution in India | 1956 | भारत का सामाजिक-सांस्कृतिक संघर्ष |
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