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First Sainik School: आधा भारत नहीं जानता पहला सैनिक स्कूल कौन सा है? जानेगा तो NDA-CDS का सपना हो जाएगा सच!

First Sainik School of India: बहुत कम लोग जानते हैं कि भारत का पहला सैनिक स्कूल कहां खोला गया था. सैनिक स्कूल का मकसद क्या था, ग्रामीण और साधारण परिवारों के छात्रों को NDA और CDS जैसी परीक्षाओं के लिए तैयारी में क्या भूमिका है. अगर आप भी सैनिक स्कूल के बारे में विस्तार से जानना चाहते हैं यह जानकारी हर UPSC और रक्षा सेवा के छात्र को जरूर जाननी चाहिए.

First Sainik School of India: अगर आप या आपके बच्चे का सपना है नेशनल डिफेंस एकेडमी (NDA) या कंबाइंड डिफेंस सर्विसेज (CDS) जैसी प्रतिष्ठित रक्षा सेवाओं में जाना तो ये जानकारी आपके लिए बेहद जरूरी है. बहुत से लोग सैनिक स्कूलों के बारे में जानते हैं लेकिन यह नहीं जानते कि भारत में सबसे पहला सैनिक स्कूल कहां और कब बना. इस जानकारी से न केवल आपकी समझ बढ़ेगी, बल्कि तैयारी का सही रास्ता भी मिल जाएगा. पहले सैनिक स्कूल की जानकारी इसलिए खास है क्योंकि एडमिशन के समय चर्चा तेज हो जाती है. इसलिए आइए जानते हैं First Sainik School of India और इसके बारे में विस्तार से.

सैनिक स्कूल क्यों खास होते हैं? (First Sainik School in Hindi)

रिपोर्ट्स और रिसर्च के मुताबिक, सैनिक स्कूलों की शुरुआत देश में उन युवाओं को सेना के लिए तैयार करने के मकसद से हुई थी, जो ग्रामीण या सामान्य पृष्ठभूमि से आते हैं लेकिन बड़े सपने देखते हैं. यहां बच्चों को कक्षा 6वीं या 9वीं से ही सेना की अनुशासित और प्रेरणादायक शिक्षा दी जाती है. 

भारत का पहला सैनिक स्कूल (First Sainik School of India)

सन् 1960 में भारत का पहला सैनिक स्कूल उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में बना था. हालांकि यह स्कूल उत्तर प्रदेश सैनिक स्कूल सोसाइटी की ओर से संचालित किया जाता है. बता दें कि देश में जो सैनिक स्कूल संचालित रहो रहे हैं तो उन्हें सैनिक स्कूल सोसाइटी द्वारा संचालित किया जाता है. इसलिए पहला ऑफिशियल सैनिक स्कूल 23 जून 1961 को सातारा (महाराष्ट्र) में खोला गया था. इसे सैनिक स्कूल सोसाइटी द्वारा संचालित किया जाता है. यह स्कूल रक्षा मंत्रालय के अधीन सैनिक स्कूल सोसाइटी द्वारा शुरू किया गया था और यहीं से सैनिक स्कूल मॉडल की शुरुआत हुई, जो आज देशभर में 33+ स्कूलों तक फैल चुका है.

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NDA-CDS की तैयारी का आधार (First Sainik School of India)

सातारा सैनिक स्कूल से हर साल सैकड़ों छात्र NDA और CDS जैसी परीक्षाओं में सफलता पाते हैं. यहां NCC ट्रेनिंग, SSB इंटरव्यू प्रैक्टिस, खेल, अनुशासन और शिक्षा एक ही छत के नीचे मिलती है.

सैनिक स्कूलों का वर्तमान नेटवर्क (First Sainik School of India)

सरकार अब नए सैनिक स्कूल खोल रही है, जिनमें कुछ निजी मॉडल (PPP) के तहत हैं. इससे ज्यादा छात्रों को फायदा मिलेगा.

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Shubham
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