Success Story: अपनी मेहनत और संघर्ष से ही आप अपने सपने की उड़ान भर सकते हैं .अपने लक्ष्य के प्रति प्रति प्रेम तो सभी करते है लेकिन उस सपनों को पूरा करना कोई आसान काम नहीं हैं. लेकिन जब अपने आप सपने को साकार करते हैं तो आप एक कहानी के रूप में लोगों। के सामने आते है उस कहानी को सुनना और पढ़ना काफी दिलचस्प होता है ऐसी ही एक कहानी है भारतीय वायु सेना ( IAF) की एक महिला अधिकारी फ्लाइंग ऑफिसर तनुष्का सिंह की जो अपने में एक प्रेरणा का स्रोत है साथ ही आपको बता दें कि इन्हें जगुआर फाइटर जेट स्क्वाड्रन में स्थाई रूप से शामिल होने वाली पहली महिला जगुआर पायलट बनने का सम्मान प्राप्त हुआ है.यही नहीं वो जल्द ही अपने स्क्वाड्रन में एक्टिव ड्यूटी के लिए रिपोर्ट करेंगी.
तनुष्का सिंह बनी पहली जगुआर पायलट
तनुष्का सिंह भारतीय वायु सेना ( IAF) एयरफोर्स में बनी पहली पहली महिला जगुआर पायलट हालांकि ऐसा पहली बार हुआ है यह भारतीय वायु सेना (IAF) में महिलाओं को लड़ाकू भूमिकाओं में शामिल करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण पहल है . साथ ही आपको बता दें कि ऐसा अक्सर देखा जाता है कि ट्रेनिंग के दौरान ही महिलाओं ने जगुआर विमान उड़ाया है लेकिन किसी भी महिला पायलट को स्क्वाड्रन में स्थाई रूप से शामिल होने का अवसर प्राप्त नहीं हुआ .
तनुष्का सिंह की प्रारंभिक शिक्षा
तनुष्का सिंह उत्तर प्रदेश से ताल्लुक रखने वाली हैं उनका जन्म उत्तर प्रदेश में ही हुआ था लेकिन वह वर्ष 2007 से मंगलुरु में रहने लगी साथ ही आपको बात दें कि उन्होंने अपनी स्कूली शिक्षा सूरतकल में पूरी की थी और उन्होंने अपनी उच्च शिक्षा के मंगलुरु में पूरी की साथ ही साल 2022 में उन्होंने इलेक्ट्रिकल और इलेक्ट्रॉनिक्स इंजीनियरिंग में बी. टेक की डिग्री प्राप्त की .
इस स्कूल से ली एयरफोर्स की ट्रेनिंग
तनुष्का सिंह अपने करियर की शुरुआत भारतीय सेना में करना चाहती थी .लेकिन जब उन्हें वायु सेना में महिलाओं के उपलब्ध अवसरों के बारे में पता चला तो उन्होंने ने अपना फैसला बदल लिया और भारतीय वायु सेना में शामिल होने का फैसला कर लिया.साथ ही आपको बता दें कि उन्होंने अपनी एयरफोर्स की ट्रेनिंग तेलंगाना के डुंडीगल स्थित एयरफोर्स एकेडमी से की थी .और बाद में उन्होंने हॉक एमके 132 विमान पर स्पेशल ट्रेनिंग लिया .
सैन्य परिवार से ताल्लुक रखती है
भारतीय वायु सेना (IAF ) की पहली जगुआर पायलट तनुष्का सिंह एक सैन्य परिवार से ताल्लुक रखती है उनके पिता और दादा दोनों ही रक्षा बल में सेवा कर चुके है . तनुष्का सिंह अन्य महिलाओं के लिए उम्मीद और प्रेरणा बनकर सामने आई हैं .उनका स्क्वाड्रन में शामिल होना हर महिला के लिए आशा का प्रतीक है.