22.9 C
Ranchi

लेटेस्ट वीडियो

UPSC के लिए पांच से आठ साल की तैयारी ‘युवा ऊर्जा की बर्बादी’, अर्थशास्त्री संजीव सान्याल का बयान

UPSC: अर्थशास्त्री संजीव सान्याल ने सिविल सेवा परीक्षा के लिए पांच से आठ साल साल की तैयारी युवा को ऊर्जा की बर्बादी करार दिया है. उन्होंने कहा कि अगर कोई युवा प्रशासक बनना चाहता है तो ही उसे संघ लोक सेवा आयोग या ऐसी किसी प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए प्रयास करने चाहिए.

UPSC: प्रधानमंत्री की आर्थिक सलाहकार परिषद के सदस्य और अर्थशास्त्री संजीव सान्याल के यूपीएससी को लेकर दिए बयान के बाद इस देश में चर्चा तेज हो गई है. दरअसल, सान्याल ने यूपीएससी को लेकर कह दिया कि लाखों छात्र सिविल सेवा परीक्षा (Civil Service Exam) के लिए पांच से आठ साल साल की कड़ी तैयारी करते हैं. उन्होंने इसे युवा ऊर्जा की बर्बादी करार दिया है.

इच्छा हो तभी करें प्रयास- सान्याल

अपने बयान में सान्याल ने कहा कि अगर कोई युवा प्रशासक बनना चाहता है तो ही उसे संघ लोक सेवा आयोग या ऐसी किसी प्रतियोगी  परीक्षाओं के लिए प्रयास करने चाहिए. नहीं तो यह युवा ऊर्जा की बर्बादी है. सान्याल ने कहा कि यूपीएससी या ऐसी अन्य परीक्षाओं का प्रयास करना बिल्कुल ठीक है, लेकिन तभी इसके लिए प्रयास करें जब अपने मन में लोक प्रशासन बनने की इच्छा हो.

सान्याल ने क्या बताई समस्या

अर्थशास्त्री सान्याल ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर लिखा कि लाखों युवा यूपीएससी परीक्षा के लिए जी-जान से मेहनत करते हैं. युवा यह परीक्षा पास करने के लिए पांच से आठ साल लगा देते हैं. सान्याल ने कहा कि इसे युवाओं ने जीवन का ढर्रा बना लिया. ऐसे में यह युवा ऊर्जा की बर्बादी है. उन्होंने लिखा है कि यह आश्चर्य की बात हो सकती है, लेकिन उनकी इस राय से ज्यादातर नौकरशाह सहमत हैं.

एक से दो प्रयास ही काफी- सान्याल

सान्याल ने कहा है कि उन लोगों के लिए एक या दो प्रयास ठीक हैं जो सच में प्रशासक बनने की इच्छा रखते हैं. उन्होंने कहा कि लेकिन इसके लिए अपने 20 से 30 साल की उम्र का बड़ा हिस्सा लगाना सही नहीं है. सान्याल ने इसे नुकसानदायक बताया है. उन्होंने कहा कि एक पूरा उद्योग ‘वास्तव में कोटा जैसे पूरा शहर’ एक परीक्षा की तैयारी से जुड़ा है. जबकि इसमें से एक प्रतिशत से भी कम आवेदक सफल होंगे.उन्होंने कहा कि यह परीक्षा हर साल हो रही है. उन्होंने कहा कि जरा सोचिये इस बड़े प्रयास को दूसरे क्षेत्रों में लगाया जाए तो क्या परिणाम आ सकते हैं.

कई लोगों ने दी प्रतिक्रिया

संजीव सान्याल की बात पर कई अन्य लोगों ने भी प्रतिक्रिया दी हैं. यूपीएससी परीक्षा की तैयारी कर रहे कई छात्रों समेत कुछ और लोगों ने इस मामले में सोशल मीडिया में अपनी राय रखी हैं. लोगों का कहना है कि आईएएस सिर्फ एक नौकरी नहीं है. ऐसे लोगों का तर्क है कि इसने मान प्रतिष्ठा के साथ-साथ पावर भी मिलता है. इसमें देश की नीति बनाने में सहयोग करने का मौका मिलता है. लोगों का तर्क है कि यह सिर्फ नौकरी नहीं बल्कि देश की सेवा करने का भी एक जज्बा भी है.

तीन चरणों में होती है सिविल सेवा की परीक्षा

गौरतलब है कि यूपीएससी भारत के सबसे कठिनतम परीक्षाओं में से एक है. यह तीन चरणों में आयोजित की जाती है. यूपीएससी के तहत भारतीय प्रशासनिक सेवा (IAS), भारतीय विदेश सेवा (IFS) और भारतीय पुलिस सेवा (IPS) के अधिकारियों समेत और कई पदों के लिए अधिकारियों का चयन किया जाता है. हर साल इसकी परीक्षा आयोजित की जाती है. इसे तीन चरण प्रारंभिक परीक्षा, मुख्य और साक्षात्कार होता है. भाषा इनपुट से साभार

पढ़ें अन्य खबरें

Lok Sabha Election 2024: बीजेपी ने किया प्रभारियों का ऐलान, ओपी धनखड़ को दिल्ली तो संजीव चौरसिया बने यूपी के प्रभारी

Pritish Sahay
Pritish Sahay
12 वर्षों से टीवी पत्रकारिता और डिजिटल मीडिया में सेवाएं दे रहा हूं. रांची विश्वविद्यालय के पत्रकारिता विभाग से पढ़ाई की है. राजनीतिक, अंतरराष्ट्रीय विषयों के साथ-साथ विज्ञान और ब्रह्मांड विषयों पर रुचि है. बीते छह वर्षों से प्रभात खबर.कॉम के लिए काम कर रहा हूं. इलेक्ट्रॉनिक मीडिया में काम करने के बाद डिजिटल जर्नलिज्म का अनुभव काफी अच्छा रहा है.

Prabhat Khabar App :

देश, एजुकेशन, मनोरंजन, बिजनेस अपडेट, धर्म, क्रिकेट, राशिफल की ताजा खबरें पढ़ें यहां. रोजाना की ब्रेकिंग हिंदी न्यूज और लाइव न्यूज कवरेज के लिए डाउनलोड करिए

संबंधित ख़बरें

Trending News

जरूर पढ़ें

वायरल खबरें

ऐप पर पढें
होम आप का शहर
News Snap News Reel