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Manipur Violence: मणिपुर में हिंसा के बाद इंटरनेट सर्विस फिर बंद, जानें कैसे हैं हालात

Manipur Violence : मणिपुर में तीन मई के बाद से हिंसा भड़की हुई है. इस बीच मोबाइल इंटरनेट प्रतिबंध को बढ़ा दिया गया है. यह रोक सोमवार 13 नवंबर शाम 7 बजकर 45 मिनट तक रहेगी. जानें मणिपुर के ताजा हालात

Manipur Violence : मणिपुर में हिंसा का दौर जारी है. इस बीच मणिपुर सरकार की ओर से बड़ा फैसला लिया गया है. सरकार ने राज्य में मोबाइल इंटरनेट प्रतिबंध को 13 नवंबर तक बढ़ाने की घोषणा की है. यह कदम मणिपुर के कुछ हिस्सों में गोलीबारी में 10 लोगों के घायल होने के एक दिन बाद उठाया गया. मणिपुर के पुलिस महानिदेशक की एक रिपोर्ट में कहा गया है कि बिष्णुपुर, इंफाल पूर्व, इंफाल पश्चिम और कांगपोकपी जिलों में दो समुदायों के बीच गोलीबारी की घटना सामने आई. इस जगहों पर लोगों ने प्रदर्शन किया. प्रदर्शनकारी दो लापता लोगों का पता लगाने को लेकर और अज्ञात हथियारबंद बदमाशों द्वारा चार लोगों के अपहरण को लेकर अपना रोष प्रकट कर रहे थे. मणिपुर गृह विभाग ने एक बयान जारी किया है जिसमें कहा गया है कि ऐसी आशंका है कि कुछ असामाजिक तत्व हिंसा भड़काने वाली तस्वीरें, नफरत भरे भाषण और नफरत भरे वीडियो मैसेज वायरल कर सकते हैं. इसके लिए वे सोशल मीडिया का इस्तेमाल कर सकते हैं, यही वजह है कि उक्त फैसला लिया गया है.

अफवाह फैलने का खतरा

बयान में कहा गया है कि मणिपुर सरकार ने उन जिलों में मोबाइल टावर ओपन कर दिये हैं जो हिंसा से प्रभावित नहीं हैं. यदि कानून व्यवस्था की स्थिति अनुकूल रही तो राज्य सरकार परीक्षण के आधार पर अन्य जिला मुख्यालयों में कुछ और मोबाइल टावरों को चालू करने पर विचार कर सकती है. आगे कहा गया है कि भड़काऊ सामग्री और झूठी अफवाहों के वायरल होने का खतरा बना रहता है. इससे जानमाल का नुकसान होने की आशंका रहती है. सोशल मीडिया, एसएमएस के माध्यम से लोगों को गुमराह करने का प्रयास किया जा सकता है. यही वजह है कि इंटरनेट सेवा को बंद रखने का फैसला किया गया है.

कब तक बंद रहे इंटरनेट

मणिपुर सरकार की ओर से कहा गया है कि व्हाट्सएप, फेसबुक, इंस्टाग्राम, ट्विटर और अन्य सोशल मीडिया प्लेटफार्मों के माध्यम से गलत सूचना और झूठी अफवाहें फैलाने के खतरे को देखते हुए मोबाइल इंटरनेट प्रतिबंध को बढ़ा दिया गया है. यह रोक सोमवार 13 नवंबर शाम 7:45 बजे तक रहेगी.

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मणिपुर के कांगपोकपी जिले में गोलीबारी

मणिपुर के इम्फाल वेस्ट जिले से लगे कांगपोकपी जिला स्थित कांगचुप इलाके में गत मंगलवार को अज्ञात लोगों की गोलीबारी में दो पुलिस कर्मी सहित कम से कम नौ लोग घायल हो गए. इस गोलीबारी को लेकर प्रत्यक्षदर्शियों ने बताया कि मेइती इलाके में ठहरे एक अलग समुदाय के पांच अज्ञात लोगों की मौजूदगी को लेकर चौकन्ना हुए फायेंग के लोगों का एक बड़ा समूह उनका पता लगाने के लिए कांगचुप इलाके में पहुंचा था. वे लोग जैसे ही वहां पहुंचे, संदिग्ध उग्रवादियों ने पहाड़ी की ओर से उन पर गोलीबारी शुरू कर दी. बाद में, ग्राम रक्षा दल और सुरक्षा बल मौके पर गए, जिसके बाद वहां दोनों ओर से गोलीबारी हुई.

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कैसे भड़की हिंसा

गौरतलब है कि मणिपुर में तीन मई के बाद से हिंसा भड़की हुई है. यहां अनुसूचित जनजाति का दर्जा देने की मेइती समुदाय की मांग के विरोध में पर्वतीय जिलों में तीन मई को आदिवासी एकजुटता मार्च के आयोजन के बाद राज्य हिंसा भड़क गई. इस हिंसा में भड़की जातीय हिंसा में कई घरों को आग के हवाले कर दिया गया. आम जनजीवन पूरी तरह बेपटरी हो गया है. राज्य में मैतेई समुदाय की आबादी करीब 53 फीसदी है और वे मुख्य रूप से इंफाल घाटी में रहते हैं. वहीं, नगा और कुकी जैसे आदिवासी समुदायों की आबादी 40 फीसदी है, और वे अधिकतर पर्वतीय जिलों में रहते हैं.

Amitabh Kumar
Amitabh Kumar
डिजिटल जर्नलिज्म में 14 वर्षों से अधिक का अनुभव है. जर्नलिज्म की शुरूआत प्रभातखबर.कॉम से की. राष्ट्रीय-अंतर्राष्ट्रीय खबरों पर अच्छी पकड़. राजनीति,सामाजिक संबंधी विषयों पर गहन लेखन किया है. तथ्यपरक रिपोर्टिंग और विश्लेषणात्मक लेखन में रुचि. ट्रेंडिंग खबरों पर फोकस.

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