Op-Sindoor: संसद का मॉनसून सत्र के तीसरे दिन भी विपक्ष के हंगामे के कारण कामकाज नहीं हो पाया. विपक्ष पहलगाम आतंकी हमले, ऑपरेशन सिंदूर और बिहार में मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण पर चर्चा की मांग को लेकर हंगामा कर रहा है. बुधवार को भी विपक्षी सांसदों की ओर से मतदाता सूची के पुनरीक्षण करने पर चर्चा की मांग को लेकर दोनों सदन में हंगामा किया और इसके कारण सदन की कार्यवाही स्थगित करनी पड़ी. विपक्षी सांसद संसद के बाहर भी इस मुद्दे पर प्रदर्शन कर रहे हैं.
ऑपरेशन सिंदूर पर चर्चा कराने की विपक्ष की मांग को सरकार ने स्वीकार कर लिया है. इस मामले पर सोमवार को लोकसभा और मंगलवार को राज्यसभा में चर्चा शुरू होगी. दोनों सदन में इस मुद्दे पर चर्चा के लिए 16 घंटे का समय तय किया गया है. हालांकि विपक्ष की ओर से तत्काल इस मामले पर चर्चा कराए जाने की मांग की जा रही है, जबकि सरकार का कहना है कि प्रधानमंत्री के विदेश दौरे को देखते हुए चर्चा का उचित समय तय किया गया है. ऐसी संभावना है कि चर्चा में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह और गृह मंत्री अमित शाह शामिल हो सकते हैं.
सरकार की कोशिश ऑपरेशन सिंदूर पर चर्चा के दौरान विपक्ष के हर दावे की आक्रामक तरीके से जवाब देने की है. सरकार की ओर से ऑपरेशन सिंदूर पर चर्चा के दौरान कांग्रेस सरकार के दौरान आतंकवाद को लेकर अपनाए गए दोहरे रवैये से देश की जनता को अवगत कराने का मौका मिलेगा. देश के लोगों को यह बताने का मौका मिलेगा कि कैसे मोदी सरकार ने आतंकवाद को कमजोर करने का काम किया है.
विपक्ष को बेनकाब करने की रणनीति पर काम कर रही है सरकार
पहलगाम हमले के बाद भारत ने पाकिस्तान के खिलाफ ऑपरेशन सिंदूर चलाकर कई आतंकी ठिकानों को नष्ट करने का काम किया. भारत की कार्रवाई के खिलाफ पाकिस्तान की ओर से भारत के खिलाफ ड्रोन और मिसाइल हमले किए गए. लेकिन भारत के एयर डिफेंस सिस्टम ने पाकिस्तान के सभी हमलों को विफल कर दिया. यही नहीं जवाबी कार्रवाई में भारत की ओर से पाकिस्तान के 11 एयरबेस पर हमला कर तहस-नहस कर दिया गया.
चार दिन के तनाव के बाद अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने सीजफायर कराने का दावा किया. हालांकि भारत सरकार ने साफ किया कि पाकिस्तान के आग्रह पर सीजफायर किया गया और इसमें किसी तीसरे देश की कोई भूमिका नहीं रही. लेकिन ट्रंप कई मौके पर सीजफायर कराने की बात कह चुके हैं और विपक्ष इसे मुद्दा बना रहा है. कांग्रेस का आरोप है कि भारत सरकार ने अमेरिका के दबाव में ऐसे समय सीजफायर किया, जबकि भारत के पास पाकिस्तान को सबक सिखाने के लिए उचित मौका था.
विपक्ष मोदी सरकार पर देश की छवि को नुकसान पहुंचाने का आरोप लगा रहा है. ऐसे में सरकार संसद में चर्चा के दौरान विपक्ष के सभी आरोपों का ना सिर्फ सिलसिलेवार जवाब देगी, बल्कि आतंकवाद को लेकर विपक्ष के रूख पर भी हमला करेगी. खासकर कांग्रेस सरकार के बड़ी आतंकी कार्रवाई के बाद भी कोई सख्त कदम नहीं उठाने पर सवाल उठाएगी और मोदी सरकार के कार्यकाल के दौरान आतंकवाद को खत्म करने के लिए सैन्य और कूटनीतिक प्रयासों का जवाब देगी.