Bihar Flood Alert : सावन की शुरुआत के साथ ही गंडक नदी एक बार फिर बिहार में दियारे के लोगों के लिए चिंता का कारण बन गई है. नदी का जलस्तर बीते दिनों 1.23 लाख क्यूसेक पर पहुंच गया था. हालांकि अब यह घटकर 80 हजार क्यूसेक से नीचे बह रही है, लेकिन विशेषज्ञों के अनुसार यह स्थिति तटवर्ती इलाकों में कटाव के लिए ज्यादा खतरनाक मानी जाती है.
69200 क्यूसेक डिस्चार्ज, 43 गांव खतरे की जद में
वाल्मीकिनगर बराज से गंडक नदी में सोमवार को 69,200 क्यूसेक पानी डिस्चार्ज किया गया. प्रशासन का मानना है कि जैसे ही यह आंकड़ा 1.5 लाख क्यूसेक के पार जाता है, बाढ़ का पानी गोपालगंज के लगभग 43 गांवों में फैल सकता है, जो नदी और बांध के बीच बसे हुए हैं.
पुरवा हवा से लहरें तेज, कटाव का बढ़ा खतरा
सावन की पुरवा हवा भी नदी के लहरों को तेज कर रही है, जिससे नदी का मिजाज और भी खतरनाक हो गया है. इसी का असर दीपऊ-पकड़ी और विशुनपुर-अहिरौली दान बांधों पर देखने को मिला, जहां शुरुआती कटाव शुरू हो चुका था. जल संसाधन विभाग ने मौके पर पहुंचकर कटाव को नियंत्रित किया और अब इंजीनियरों की टीम हाई अलर्ट मोड में निगरानी कर रही है.
निमुईया पंचायत में तटबंध निरीक्षण, हल्का कटाव दर्ज
मांझा प्रखंड के निमुईया पंचायत में सोमवार को BDO विनीत कुमार और सीओ मुन्ना कुमार ने कटाव की सूचना पर स्थल निरीक्षण किया. अधिकारियों ने बताया कि कुछ स्थानों पर तटबंध में हल्का कटाव देखा गया है, जिसकी जानकारी तुरंत बाढ़ नियंत्रण विभाग को भेज दी गई है.
जिले के सभी तटबंध सुरक्षित कार्यपालक अभियंता
जल संसाधन विभाग के कार्यपालक अभियंता पवन कुमार ने बताया कि जिले के सभी तटबंध वर्तमान में सुरक्षित हैं, हालांकि लगातार निगरानी जारी है. विशंभरपुर में नदी फिलहाल खतरे के निशान से 91 सेमी नीचे और डुमरिया में 24 सेमी नीचे बह रही है.
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