गोपालगंज. जिले में इन दिनों मौसम का मिजाज लगातार बदल रहा है. कभी तेज धूप, तो कभी अचानक बारिश लोगों की सेहत पर असर डाल रही है. खासकर बुजुर्गों और बच्चों में सांस संबंधी बीमारियों के मामले तेजी से बढ़े हैं. सदर अस्पताल में इन दिनों सांस की समस्या, अस्थमा और खांसी-जुकाम से पीड़ित मरीजों की संख्या में उल्लेखनीय वृद्धि देखी जा रही है. शनिवार को सदर अस्पताल का इमरजेंसी वार्ड मरीजों से खचाखच भरा रहा. अधिकतर मरीजों में सांस फूलने, सीने में जकड़न और तेज खांसी की शिकायत देखी गयी. अस्पताल के वरिष्ठ चिकित्सक डॉ एसके गुप्ता ने बताया कि मौसम में अचानक बदलाव खासकर तापमान के उतार-चढ़ाव से लोगों की प्रतिरोधक क्षमता प्रभावित हो रही है. इससे अस्थमा और अन्य श्वसन संबंधी रोगों में बढ़ोतरी हो रही है. डॉ गुप्ता ने बताया कि इस समय सबसे अधिक खतरा बुजुर्गों, बच्चों और पहले से सांस की बीमारी से ग्रसित मरीजों को है. ऐसे लोगों को विशेष सतर्कता बरतने की जरूरत है. उन्होंने लोगों को धूलभरे और प्रदूषित वातावरण से बचने, घर से निकलते समय मास्क पहनने और अधिक समय तक धूप या बारिश में न रहने की सलाह दी है. स्वास्थ्य विभाग ने भी इस स्थिति को देखते हुए लोगों से सतर्क रहने की अपील की है. सिविल सर्जन डॉ बीरेंद्र प्रसाद का कहना है कि इस बदलते मौसम में वायरल संक्रमण, एलर्जी और फेफड़ों की समस्याएं आम हो गयी हैं. खासतौर पर सुबह और शाम के समय वातावरण में नमी और ठंडक के कारण सांस लेने में दिक्कत हो रही है. जिले में पिछले एक सप्ताह में सांस संबंधी बीमारियों से ग्रसित करीब 300 मरीज सदर अस्पताल पहुंचे हैं, जिनमें 60% से अधिक बुजुर्ग हैं. स्वास्थ्य विभाग ने कहा है कि यदि किसी को लगातार खांसी, बुखार या सांस लेने में तकलीफ हो रही हो, तो तुरंत चिकित्सक से संपर्क करें. इस बीच अस्पताल प्रशासन ने भी ओपीडी और इमरजेंसी विभाग में डॉक्टरों की संख्या बढ़ा दी है, ताकि मरीजों को समय पर इलाज मिल सके.
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