दिन में 8 से 10 बार होती है बिजली ट्रिप
पूर्णिया.अप्रैल माह के आखिर में गर्मी के बढ़ते ही जिले में बिजली की आंख मिचौनी शुरू हो गयी है. दिन दोपहर हो या शाम अथवा आधी रात कभी भी बिजली अचानक गुल हो जा रही है. इस वजह से गर्मी से लोग बेहाल हो जा रहे हैं. बिजली के ट्रिप होते ही लोगों की अन्य परेशानियां भी बढ़ जा रही है. शहर हो या ग्रामीण इलाका, हर जगह यह आंख मिचौनी का खेल जारी है. इसके अलावा शहर के आस पास के ग्रामीण इलाकों में बिजली लाइन का फेज उड़ जाना वोल्टेज का लो होना आम समस्या है. शहरी क्षेत्र के कई ऐसे मुहल्ले हैं जहां पर दिन में कई बार रोजाना बिजली गुल हो जा रही है. बिजली कंपनी की बार बार अघोषित बिजली कटौती से लोग परेशान हैं. इससे बिजली कंपनी पर लोगों का गुस्सा सामने आ रहा है. यह तकलीफ उस समय और बढ़ जाती है जब बिजली बार-बार कटती रहती है.
विभाग की माने तो गर्मी की वजह से बिजली की खपत में बढ़ोतरी हुई है. हर ओर सप्लाई का लोड बढ़ा हुआ है, जिस वजह से लाइन ट्रिप कर जा रही है. जबकि बिजली कंपनी दावा करती आयी है कि शहरी क्षेत्र में जितनी मेगावाट बिजली आपूर्ति चाहिए उतनी मिल रही है. इतना ही नहीं बिजली कंपनी का यह भी दावा है कि शहरी क्षेत्र में निर्बाध बिजली आपूर्ति की जा रही है. वहीं बिजली कंपनी द्वारा मेंटेनेंस के नाम पर सिर्फ पेड़ की डाल कांट-छांट को ल्रकर आये दिन घंटों इस भीषण गर्मी में बिजली आपूर्ति बंद रहती है. कमोबेश प्रतिदिन की स्थिति यह है कि दिन में 8 से 10 बार बिजली ट्रिप करती है. एक बार बिजली गयी तो आधे से एक घंटे की प्रतीक्षा आम है. शहर के मधुबनी, हाउसिंग कॉलोनी, जय प्रकाश नगर, सिपाही टोला, कोर्ट स्टेशन, जेल चौक, फोर्ड कंपनी, लाइन बाजार, सुभाष नगर, मरंगा, गुलाबबाग, खुश्कीबाग आदि क्षेत्रों में बिजली ट्रिपिंग से लोग बेहाल है. शहर के शशि कुमार, मनीष कुमार, सूरज वर्मा, मंजेश कुमार आदि लोगों ने बताया कि अभी गर्मी की शुरुआत में ही बिजली का यह हाल है सुबह से लेकर रात तक करीब 8 से 10 बार बिजली ट्रिपिंग और घंटों बिजली गुल रहती है तो आनेवाले महीनों में इसकी क्या स्थिति रहेगी. बिजली की इस लचर व्यवस्था पर कई सामाजिक संगठनों के प्रतिनिधियों ने रोष प्रकट किया है उनका कहना है कि जल्द बिजली व्यवस्था दुरुस्त नहीं हुई तो आंदोलन किया जाएगा.कहते हैं अधिकारी
बिजली आपूर्ति में कोई कमी नहीं है. अचानक लोड बढ़ने से ट्रांसफार्मर में फ्यूज की समस्या आती है, जिसे सही करने में समय लगता है. इस दौरान बिजली आपूर्ति बाधित रहती है. जिस दिन मेंटेनेंस को लेकर पेड़ की डाल काट-छांट होती है तो उस समय तक फीडर शटडाउन में रहता है. जिस कारण बिजली आपूर्ति बंद रहती है. शहरी क्षेत्र में निर्बाध बिजली आपूर्ति हो रही है. शहरी क्षेत्र में जितनी बिजली आपूर्ति चाहिए, उतनी हो रही है. : बलवीर कुमार बागीस, कार्यपालक अभियंता (पश्चिमी क्षेत्र) विद्युत आपूर्ति पूर्णिया अवर प्रमंडल
फोटो. 24 पूर्णिया 6- ट्रांसफार्मर की मरम्मत करते बिजली मिस्त्री.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है