पूर्णिया. बहुजन क्रांति मोर्चा के प्रमंडलीय प्रभारी सह राजद के वरिष्ठ नेता प्रो. आलोक कुमार ने पूर्व मुख्यमंत्री राजद के राष्ट्रीय अध्यक्षलालू प्रसाद पर बाबा साहब डॉक्टर अंबेडकर के अपमान करने का आरोप लगाए जाने को बेबुनियाद बताया है. यहां जारी बयान में उन्होंने कहा है कि आरएसएस एवं भाजपा जैसी पार्टी एवं संगठन के लोगों के द्वारा संविधान का अपमान हमेशा से किया जा रहा है. प्रो. कुमार ने कहा है कि आरएसएस के हेडक्वार्टर पर वर्षों तक राष्ट्रीय ध्वज नहीं फहराया गया जो राष्ट्र का अपमान है. उन्होंने कहा है कि भाजपा नेताओं एवं संघ के लोगों को पता होना चाहिए कि आज भी मध्यप्रदेश के ग्वालियर हाई कोर्ट में डॉक्टर अंबेडकर की मूर्ति को स्थापित करने के लिए बहूजनों का आंदोलन चल रहा है जहां भाजपा की सरकार है. जबकि लालू जी ने बिहार में सत्ता संभालने के कुछ ही दिनों बाद पटना हाई कोर्ट के सामने बाबा साहब डॉक्टर भीमराव अंबेडकर की आदमकाद प्रतिमा का अनावरण कर अपने विचारों को देश के रख दिया था. प्रो आलोक ने कहा है कि बिहार के सभी बहुजन नेता यथा जननायक कर्पूरी ठाकुर, अमर शहीद जगदेव प्रसाद, बीपी मंडल, डॉक्टर लोहिया, लोकनायक जयप्रकाश, बिरसा मुंडा, तिलकामांझी जैसे क्रांतिकारी महापुरुषों की प्रतिमा राजधानी के मुख्य चौराहे पर अपने कार्यकाल में स्थापित करने का काम किया. बिहार विश्वविद्यालय का नामकरण डॉक्टर आंबेडकर, भागलपुर विश्वविद्यालय का नामकरण तिलका मांझी और रांची विश्वविद्यालय का नामकरण वीरसा मुंडा के नाम से किया गया. इसके कई उदाहरण हैं. प्रो आलोक ने कहा है कि बाबासाहब आंबेडकर के विचारों की हत्या प्रतिदिन कर लालू जी जैसे महान समाजवादी, सामाजिक न्याय एवं सांप्रदायिक सद्भाव के लिए मिसाल क़ायम करने वाले नेता को अपमानित करने के लिए झूठा मनगढ़ंत आरोप लगाकर बिहार ही नहीं देश भर में भ्रम पैदा करना है. उन्होंने भाजपा के इस तरह के क्रियाकलाप को बहुजन नेताओं के चरित्र हनन का प्रयास बताया है.
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