बाजार से यूरिया, डीएपी व बीज की खरीदारी कर रहे किसान, बढ़ रही खेती में लागतप्रतिनिधि, रानीश्वर
पिछले कुछ दिनों से बारिश होने के बाद प्रखंड क्षेत्र में धानरोपनी के काम में तेजी आयी है, पर अभी तक लैंप्स में खाद उपलब्ध नहीं हो सका है. किसानों को बाजार से यूरिया व डीएपी खरीदना पड़ रही है. किसानों से मिली जानकारी के अनुसार बाजार में खाद की कीमत में एकरूपता नहीं है. सुदूर ग्रामीण क्षेत्र में व्यवसायी मनमाने तरीके से खाद का दाम वसूल रहे हैं. वहीं किसन बाजार में धान बेचने जाने पर उन्हें कम दाम मिल रहा है. किसानों को दोनों ओर से परेशानी झेलना पड़ रही है. प्रखंड क्षेत्र के विभिन्न पंचायतों में लैंप्स है. पर रानीश्वर, बृंदावनी, पाथरा व सुखजोड़ा लैंप्स फिलहाल निष्क्रिय है. इसके अलावा आमजोड़ा, आसनबनी, सादीपुर, चोपाबाथान, बांसकुली, धानभाषा आदि लैंप्स में किसानों के लिए खाद उपलब्ध कराये जाने से किसानों को राहत मिलता. लैंप्स के सहायक प्रबंधक व कमेटी के सदस्य सक्रिय रहने पर किसानों को लैंप्स से लाभ मिल सकता है.क्या कहते हैं किसान
खेतों में धनरोपनी शुरू कर चुके हैं. पर रासायनिक खाद के लिए परेशानी झेलनी पड़ रही है. बाजार से यूरिया व डीएपी खाद खरीदना पड़ रही है. लैंप्स से खाद उपलब्ध होने से उचित दरों पर खाद उपलब्ध हो सकता है.बच्चू मंडल, महेशबथान खेती के लिए बाजार से खाद खरीदने के लिए धान बेचना पड़ रहा है. बाजार में धान की कम है और खाद की कीमत ज्यादा है. बाजार में स्वर्ण प्रभेद का धान 1800 से 1860 रुपये प्रति क्विंटल की दर से बिक रहा है.
चिड़ितन दास, रघुनाथपुर पहले लैंप्स में खेती के समय धान व बीज उपलब्ध होता था. पर इस साल अभी तक सरकारी स्तर से लैंप्स में खाद बीज उपलब्ध नहीं हो सका. बाजार से ही सबकुछ खरीद कर खेती करना पड़ रही है. पहल हो.दीनबंधु दास, पाथरासरकार की ओर से पंचायतों में एक के बाद लैंप्स का भवन निर्माण कराया जा रहा है, पर लैंप्स से किसानों को लाभ मिले इसके लिए किसी भी ओर से पहल नहीं की जा रही है. लैंप्स का भवन शोभा की वस्तु बन गया है.
विकास पाल, लखनपुरडिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है