पारसनाथ स्टेशन : आरपीएफ व बनवासी विकास आश्रम ने बाल व्यापार के खिलाफ चलाया अभियान
पारसनाथ स्टेशन पर बुधवार को विश्व मानव तस्करी विरोध दिवस मना. रेलवे सुरक्षा बाल तथा बनवासी विकास आश्रम के संयुक्त पहल पर रेलवे सभा कक्ष में बाल तस्करी विषय पर सेमिनार का आयोजन किया गया. सेमिनार का उद्घाटन स्टेशन अधीक्षक अविनाश कुमार ने किया. कहा कि बाल व मानव तस्करी झारखंड की एक गंभीर समस्या है. यह एक संगठित अपराध है, जिसमें व्यक्ति को धोखा, बल, लालच या दबाव देकर एक स्थान से दूसरे स्थान ले जाया जाता है. इस पेशे में दलाल शामिल होते हैं. बच्चों का तस्करी कर उनसे जबरन बाल व बंधुआ मजदूरी करायी जाती है. साथ ही यौन शोषण, अंग व्यापार, बाल विवाह, घरेलू नौकर के रूप में शोषण होता है. बच्चे तस्करों के चंगुल में फंसते हैं, उनका बाहर निकलना मुश्किल होता है. आरपीएफ के मो जफर खान ने कहा कि रेल पुलिस ऐसे तस्कर जो ट्रेन से से बच्चों को अन्य बड़े शहरों में ले जाने की कोशिश करते हैं, उनपर नजर रखती है. रेलने बनवासी विकास आश्रम, जस्ट राइट्स फॉर चिल्ड्रेन जैसे सामाजिक संगठनों के साथ मिलकर एक से 30 जुलाई तक विशेष सतर्कता अभियान चलाया. इसका समापन बुधवार को विश्व मानव तस्करी विरोधी दिवस पर हुआ.कानून का भय पैदा करना जरूरी
बनवासी विकास आश्रम के सुरेश कुमार शक्ति ने कहा कि आज इस सेमिनार में कूली, स्टेशन पर के दुकानदार, सफाई कर्मी, रेल कर्मी, ऑटो, टैक्सी ड्राइवर सभी शामिल हैं. तस्करों को पहचानने में इनकी भूमिका महत्वपूर्ण हैं. इनको सतर्क रहना होगा. संदेह होने पर तुरंत चाइल्ड हेल्प लाइन नंबर 1098 तथा आरपीएफ को सूचित करें. आपकी जागरूकता, सतर्कता से बचपन को बचाया जा सकता है. कहा कि यदि बच्चों की ट्रैफिकिंग रोकनी है, तो कानूनी कार्रवाई जरूरी है. बाल दुर्व्यापारियों को जब शीघ्र और सख्त सजा मिलेगी, तभी हम उनमें कानून का भय पैदा कर पायेंगे. यह भय ट्रैफिकिंग की रोकथाम के लिए सबसे असरदार उपाय साबित होगा. रोकथाम अभियानों की सफलता के लिए जिले में मजबूत प्रशासनिक समन्वय और समयबद्ध कानूनी कार्रवाई आवश्यक है. कार्यक्रम में बनवासी विकास आश्रम के सामुदायिक कार्यकर्ता ओमप्रकाश वर्मा, हीरा देवी, हीरामन दास, रूपा देवी, सफाई कर्मी, कुली व अन्य रेलवे कर्मी उपस्थित थे.संगठित होकर ही रोकी जा सकती है मानव तस्करी : बीडीओ
हजारीबाग रोड स्टेशन के सभा कक्ष में मानव तस्करी विरोध दिवस पर जागरूकता कार्यक्रम सह कार्यशाला का आयोजन आरपीएफ पोस्ट हजारीबाग रोड व वनवासी विकास आश्रम गिरिडीह के तत्वाधान में मनाया गया. मुख्य अतिथि बीडीओ ललित नारायण तिवारी ने कहा कि मानव तस्करी सभ्य समाज के लिए एक कलंक है. यह व्यापार भारत ही नहीं, बल्कि पूरी दुनिया में फैला हुआ है. इस घृणित कार्य से कई परिवार लाचार हो चुके हैं. जनता तथा प्रशासन भी परेशान है. कहा कि संगठित होकर ही इस पर रोक संभव है. आरपीएफ निरीक्षक प्रभारी विश्वनाथ कुमार ने कहा कि पहले की तुलना में मानव तस्करी में कमी आयी है. मौके पर गवेश लकड़ा, मनोज सिंह, उदय सोनी, भागीरथी देवी, हरि मंडल, आरक्षी पूनम कुमारी, सुष्मिता रानी, परमेश्वर महतो, प्रमोद सिंह, विकास महतो, उत्तम कुमार, आसिफ अंसारी, संदीप कुमार समेत रेल यात्री, अधिकारी न अन्य उपस्थित थे.
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