Gumla News| गुमला, जगरनाथ पासवान : गुमला जिले में कई ऐसे शिवालय हैं, जिनका इतिहास और स्थापना काल किसी को नहीं मालूम. अनंत काल से यहां पूजा-पाठ हो रहा है. कामडारा प्रखंड में पहाड़गांव का प्राचीन शिव मंदिर भी ऐसा ही एक मंदिर है. यहां गुप्त गंगा से साल भर पानी बहता रहता है. कामडारा प्रखंड की सरिता पंचायत में पहाड़ गांव आमटोली है. यहां प्राचीन शिव मंदिर है, जो आस्था का केंद्र है. यह मंदिर जंगल और पहाड़ों के बीच है. प्राकृतिक सौंदर्य के बीच बने इस मंदिर के बारे में कहा जाता है कि स्वयं भगवान भोलेनाथ यहां बिराजे हैं.
पत्थर के ऊपर पत्थर रखकर किया गया है मंदिर का निर्माण
यहां का प्रकृति सौंदर्य श्रद्धालुओं का मन मोह लेता है. श्रद्धालुओं की मानें, तो इस मंदिर का निर्माण स्वयं शंभु ने कराया है. मंदिर को बनाने के लिए सीमेंट, छड़, गिट्टी, बालू या मिट्टी तक का इस्तेमाल नहीं हुआ है. एक पत्थर के ऊपर दूसरा पत्थर रखकर इस मंदिर का निर्माण किया गया है. शिव भक्तों का मानना है कि स्वयं भगवान यहां निवास करते हैं. यही वजह है कि लाखों आंधी, तूफान आ जाए, मंदिर को कोई नुकसान नहीं होता.

कई राज्यों से प्राचीन शिव मंदिर में पूजा करने आते हैं श्रद्धालु
महाशिवरात्रि के अवसर पर पूजा-अर्चना करने और इस प्राचीन मंदिर में विराजमान भगवान के दर्शन करने के लिए दूसरे राज्यों से भी श्रद्धालु यहां आते हैं. लोगों का कहना है कि इस मंदिर में पूरी आस्था और श्रद्धा से अगर कोई मन्नत मांगता है, तो उसे मनोवांछित फल की प्राप्ति होती है. इस मंदिर से सटी गुप्त गंगा भी है. गुप्त गंगा से साल भर पानी बहता रहता है. लोग गुप्त गंगा से जल लाकर भगवान भोलेनाथ का जलाभिषेक करते हैं.
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मंदिर क्षेत्र को पर्यटक स्थल घोषित करने की मांग
स्थानीय लोगों ने जिला प्रशासन से मंदिर को पर्यटक स्थल घोषित करने की मांग की है. इस मंदिर परिसर में बजरंग बली मंदिर, माता पार्वती मंदिर, गणेश मंदिर के साथ-साथ अन्य देवी-देवताओं के भी मंदिर हैं. कुछ मंदिर हाल-फिलहाल में बनाये गये हैं. सभी मंदिरों में सालों भर पूजा करने के लिए भक्तों का तांता लगा रहता है.

ट्रेन और सड़क मार्ग से पहुंच सकते हैं कामडारा के प्राचीन मंदिर
यह मंदिर प्रखंड मुख्यालय से करीब 12 किलोमीटर दूर पहाड़ गांव में है. प्राचीन शिव मंदिर तक पहुंच पथ के साथ ट्रेन की सुविधा भी है. रेलवे स्टेशन पकरा से उतरकर मंदिर तक की दूरी लगभग एक किलोमीटर है. सड़क मार्ग से आयेंगे, तो बाकूटोली से बक्सपुर मोड़ होकर पकरा मंदिर टोली पहुंच सकते हैं.
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