Jharkhand Liquor Scam: झारखंड शराब घोटाला मामले में एसीबी का एक्शन जारी है. एसीबी के विशेष न्यायाधीश योगेश कुमार सिंह ने आईएएस विनय चौबे सहित पांच आरोपियों की हिरासत अवधि बढ़ाकर 9 जून तक कर दी है. इधर, मामले में मैनपावर सप्लाई करनेवाली कंपनी मेसर्स मार्शन इनोवेटिव सिक्यूरिटी के तीन अधिकारी मंगलवार को पूछताछ के लिए एसीबी मुख्यालय नहीं पहुंचे. अब उन्हें फिर से नोटिस भेजा जायेगा.
इनकी हिरासत अवधि बढ़ाई गयी
जानकार के अनुसार, शराब घोटाले में गिरफ्तार विनय चौबे सहित पांच आरोपियों को 14 दिनों की हिरासत अवधि पूरी होने पर एसीबी के विशेष न्यायाधीश योगेश कुमार सिंह की अदालत में पेश किया गया. यहां अदालत ने मामले की सुनवाई करते हुए उनकी हिरासत अवधि नौ जून तक बढ़ा दी है. इस दौरान जिनकी हिरासत अवधि बढ़ायी गयी है, उनमें निलंबित आइएएस विनय चौबे, तत्कालीन संयुक्त उत्पाद आयुक्त गजेंद्र सिंह, जेएसबीसीएल के अधिकारी सुधीर कुमार और तत्कालीन जीएम वित्त सुधीर कुमार दास शामिल हैं.
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वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिये हुई पेशी
बता दें कि सभी की पेशी वीडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से हुई. 20 मई को आइएएस विनय चौबे और तत्कालीन संयुक्त उत्पाद आयुक्त गजेंद्र सिंह को एसीबी ने गिरफ्तार किया था. छत्तीसगढ़ में प्राथमिकी दर्ज होने के बाद रांची एसीबी ने साल 2024 में पीई दर्ज की थी. जांच में आरोप सही पाये जाने पर विजिलेंस ने 9/2025 के तहत प्राथमिकी दर्ज की थी. 2022 में नई उत्पाद नीति बनी थी, नीति छत्तीसगढ़ मॉडल की तर्ज पर बनायी गयी थी. उसके बाद राज्य में छत्तीसगढ़ की सिंडिकेट हावी हो गयी थी. थोक शराब की बिक्री पर छत्तीसगढ़ के सिंडिकेट का कब्जा था.
पूछताछ के लिए नहीं पहुंचे ये अधिकारी
इधर, राज्य में 38 करोड़ रुपये से अधिक शराब घोटाला मामले में मैनपावर सप्लाई करनेवाली कंपनी मेसर्स मार्शन इनोवेटिव सिक्यूरिटी के तीन अधिकारी मंगलवार को एसीबी मुख्यालय नहीं पहुंचे. इस कारण कंपनी के अधिकारियों से पूछताछ नहीं हो सकी. अब इन्हें पूछताछ के लिए फिर से एसीबी की ओर से नोटिस भेजा जायेगा. इन अधिकारियों में जगन ठाकुराम देशाई, कमल जगन देसाई और शीतल जगन देसाई शामिल हैं.
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आज इन अधिकारियों से होगी पूछताछ
इन सभी को 26 मई को महाराष्ट्र के थाने एरिया स्थित कंपनी के पते पर नोटिस भेजकर पूछताछ के लिए तीन जून को सुबह 10.30 बजे एसीबी मुख्यालय बुलाया गया था. लेकिन एसीबी के अधिकारियों ने तीनों के आने की पुष्टि नहीं की है. मालूम हो कि चार जून को एसीबी ने विजन हॉस्पिटालिटी सर्विस एंड कंसल्टेंट प्राइवेट लिमिटेड के चार अधिकारियों को पूछताछ के लिए बुलाया है. इन अधिकारियों में विपिन जाधवभाई परमार, महेश हेगड़े, परेश अभि सिंह ठाकुर और विक्रम सिंह शामिल हैं.
कंपनी पर क्या आरोप है
उल्लेखनीय है कि इन दोनों कंपनी पर आरोप है कि इनके द्वारा फर्जी बैंक गारंटी जमा कर मैन पावर सप्लाई काम को लेकर सरकार को 38 करोड़ रुपये से अधिक राजस्व का नुकसान पहुंचाया गया है. एसीबी ने प्रारंभिक जांच में सरकार को राजस्व का नुकसान पहुंचाने के लिए इन दोनों कंपनियों को दोषी पाया है. एसीबी दोनों कंपनी के अधिकारियों से कंपनी के कार्यों को लेकर पूछताछ करना चाहती है.
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