रांची. झारखंड हाइकोर्ट के जस्टिस नवनीत कुमार का बुधवार को अंतिम कार्य दिवस रहा. हाइकोर्ट की अोर से जस्टिस कुमार के सम्मान में फुलकोर्ट फेयरवेल रेफरेंस का आयोजन किया गया. इस दौरान चीफ जस्टिस एमएस रामचंद्र राव ने जस्टिस नवनीत कुमार के योगदान पर चर्चा की. वहीं महाधिवक्ता राजीव रंजन, झारखंड स्टेट बार काउंसिल की अोर से अध्यक्ष राजेंद्र कृष्ण, एडवोकेट एसोसिएशन की अोर से मुकेश कुमार सिन्हा, प्रशांत पल्लव ने उनके जीवन व योगदान पर प्रकाश डाला. रेफरेंस का संचालन रजिस्ट्रार जनरल ने किया. इस अवसर पर हाइकोर्ट के वरीय अधिवक्ता, अधिवक्ता उपस्थित थे. उल्लेखनीय है कि जस्टिस नवनीत कुमार की सेवानिवृत्ति के बाद झारखंड हाइकोर्ट में न्यायाधीशों की संख्या कम हो गयी. चीफ जस्टिस एमएस रामचंद्र राव सहित 15 न्यायाधीश रह गये हैं.
आठ अक्तूबर 2021 को हाइकोर्ट के जज बने थे
जस्टिस नवनीत कुमार आठ अक्तूबर 2021 को झारखंड हाइकोर्ट के जज बने थे. हाइकोर्ट के जज नियुक्त होने तक वह रांची के न्यायायुक्त पद पर पदस्थापित रहे. वह बिहार के भोजपुर जिला निवासी हैं. उनका जन्म आरा में 20 मार्च 1963 को हुआ था. जस्टिस कुमार ने संत जॉन्स हाइस्कूल रांची से मैट्रिक व संत जेवियर कॉलेज रांची से स्नातक की पढ़ाई की है. 1987 में दिल्ली विश्वविद्यालय के कैंपस लॉ सेंटर से एलएलबी व दिल्ली विश्वविद्यालय से ही कानून में स्नातकोत्तर की डिग्री ली. इसके बाद दिल्ली हाइकोर्ट में प्रैक्टिस शुरू की. उन्होंने 1990 में पटना हाइकोर्ट में वकालत शुरू की. जस्टिस कुमार 22 दिसंबर 2001 को झारखंड सुपीरियर ज्यूडिशियल सर्विस में आये थे.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है