रांची. रांची में सरहुल की शोभायात्रा एक अप्रैल को निकाली जायेगी. हालांकि सरहुल पर्व की शुरुआत 31 मार्च से ही हो जायेगी. 31 मार्च को पूजा में बैठने वाले बुजुर्ग उपवास पर रहेंगे. जबकि युवा मछली और केकड़ा पकड़ने के लिए तालाबों, पानी वाले खेतों और जलस्रोतों के पास जायेंगे. 31 मार्च को ही पाहन सरना स्थलों पर जलरखाई पूजा करेंगे. हातमा स्थित सरना स्थल में इस पूजा के दौरान आसपास के आदिवासी छात्रावासों से बड़ी संख्या में छात्र जुटेंगे. सभी छात्रावासों के लिए हातमा के जगलाल पाहन द्वारा पवित्र जल प्रदान किया जायेगा. एक अप्रैल को सुबह पूजा होगी, जिसके बाद शोभायात्रा निकाली जायेगी.
31 को दीक्षांत मंडप में सरहुल पूर्व संध्या समारोह
31 मार्च को सरना नवयुवक संघ केंद्रीय समिति द्वारा सरहुल पूर्व संध्या समारोह का आयोजन मोरहाबादी स्थित दीक्षांत मंडप में होगा. संघ के अध्यक्ष डॉ हरि उरांव ने कहा कि समारोह में रांची व आसपास के आदिवासी छात्रावासों के युवक-युवतियां सामूहिक नृत्य-गीत प्रस्तुत करेंगे. इस दौरान संघ की पत्रिका सरना फूल के 46वें अंक का विमोचन होगा. कार्यक्रम में रांची विवि के कुलपति डॉ अजीत कुमार सिन्हा, डॉ श्यामा प्रसाद मुखर्जी विवि के कुलपति डॉ तपन शांडिल्य सहित समाज के अगुवा को आमंत्रित किया गया है.
सरना स्थलों के पास चल रही है साफ-सफाई
केंद्रीय सरना स्थल सिरमटोली, सरना स्थल हातमा सहित शहर के सभी सरना स्थलों पर साफ-सफाई व रंग रोगन का काम किया जा रहा है. सरना स्थलों तक पहुंचने वाली सड़कों को दुरुस्त किया जा रहा है. शहर की सड़कें लाल व सफेद रंग की पट्टियों वाले सरना झंडे से पट गयी हैं. सरना समितियों व छात्रावासों द्वारा शोभायात्रा निकालने की तैयारी भी चल रही है.
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