Rourkela News: रायबोगा लैंपस के गोदाम में अवैध रूप से लाये गये रागी के 106 बोरे जब्त किये जाने से अंचल में खलबली मची है. बिरमित्रपुर तहसीलदार गौरी नायक के आदेश पर यह कार्रवाई की गयी है. जानकारी के अनुसार, झारखंड के जामुडीही से यह रागी (मड़ुआ) एक मिनी ट्रक में लादा गया था. शनिवार सुबह जामुडीही से यह ट्रक रायबोगा लैंपस के गोदाम में 7:00 बजे पहुंचा. ड्राइवर के अनुसार, ट्रक में 106 बोरा रागी लादा गया था. प्रत्येक बोरी का वजन लगभग 50 से 60 किलो था. माल उतारते समय कुआरमुंडा ब्लॉक के पूर्व वाइस चेयरमैन श्यामा साहू और मनोहर साहू ने वहां पहुंच कर ड्राइवर से पूछताछ की. ड्राइवर ने बताया कि यह रागी झारखंड के जामुडीही से लाया गया है, जिसके बाद उन्होंने वहां हंगामा मचाया. उन्होंने रागी जब्त करने की मांग की. आसपास के लोगों ने वहां पहुंच कर इसका समर्थन किया.
जिला कृषि अधिकारी के साथ भी हुई तीखी बहस
मामला तूल पकड़ने पर पूर्व विधायक शंकर ओराम भी वहां पहुंचे. उन्होंने फोन पर इसकी सूचना जिलापाल को दी. बाद में बिरमित्रपुर तहसीलदार गौरी नायक, कुआरमुंडा एमआइ अंजली दास तथा जिला कृषि अधिकारी भी वहां पहुंचे. जिला कृषि अधिकारी और श्यामा साहू व उनके समर्थकों की तीखी बहस भी हुई. श्यामा साहू ने अधिकारी पर मामले में लीपापोती करने का आरोप लगाया. बाद में पूर्व विधायक शंकर ओराम, पूर्व वाइस चेयरमैन श्यामा साहू, एमआइ कुअरमुंडा तथा पुलिस की उपस्थिति में रागी लदा मिनी ट्रक जब्त किया गया.
रागी का उत्पादन बढ़ाने के लिए राज्य सरकार खर्च कर रही बड़ी राशि
रागी जिसे मिलेट्स या मड़ुआ भी कहा जाता है कि खेती के लिए राज्य सरकार एक बड़ी राशि खर्च करती है. इसके लिए कृषकों को प्रोत्साहन राशि तथा बीज दिया जाता है. सरकार फसल होने के बाद इसे ऊंचे दाम पर खरीदती भी है. ओडिशा में इसकी खेती कम, जबकि झारखंड में ज्यादा होती है. बिचौलिए झारखंड से रागी लाकर किसानों के माध्यम से लैंपस में बेचकर लाखों रुपये कमाते हैं. झारखंड में रागी 20 रुपये किलो मिलता है, वहीं ओडिशा में यह 40 से 45 रुपये किलो में बिकता है.
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