Air India Plane Crash: विमानन क्षेत्र के एक सलाहकर और अनुभवी पायलट ने सुझाव दिया है कि एयर इंडिया विमान दुर्घटना के जांचकर्ताओं को उड़ान संख्या एआई171 के स्टेबलाइजर में संभावित खराबी पर भी ध्यान देना चाहिए. विशेषज्ञ ने संभावना जताई है कि स्टेबलाइजर की वजह से भी विमान दुर्घटना हो सकता है.
चालक दल ने इंजीनियरों को स्टेबलाइजर में खराबी की दी थी सूचना
12 जुलाई को जारी जांच की प्रारंभिक रिपोर्ट के अनुसार, चालक दल ने अहमदाबाद में इंजीनियरों को स्टेबलाइजर में खराबी की सूचना दी थी, जिन्होंने उसे ठीक कर दिया था.
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विमानन विशेषज्ञ को आशंका है कि स्टेबलाइजर की जांच ठीक नहीं की गई
विमानन विशेषज्ञ कैप्टन एहसान खालिद ने पीटीआई से कहा कि जांचकर्ताओं को स्टेबलाइजर इनपुट डेटा के लिए भी फ्लाइट डेटा रिकॉर्डर की जांच करनी चाहिए, कहीं ऐसा तो नहीं कि इसे सही से दुरुस्त नहीं किया गया हो और बोइंग 787-8 ड्रीमलाइनर विमान के उड़ान भरते ही दुर्घटना के हालात पैदा हो गए हों. स्टेबलाइजर विमान के पिछले हिस्से में होता है और पायलट के आदेश पर विमान के अगले हिस्से को ऊपर-नीचे करने में मदद करता है.
प्रारंभिक रिपोर्ट में हादसे की वजह क्या बताई गई?
अहमदाबाद विमान हादसे को लेकर जो प्रारंभिक रिपोर्ट दी गई थी, उसमें बताया गया, एयर इंडिया की उड़ान एआई-171 के दोनों इंजन में ईंधन पहुंचाने वाले स्विच बंद हो गए थे और इसके बाद पायलटों में भ्रम की स्थिति पैदा हो गई, जिसके कुछ ही सेकंड बाद विमान अहमदाबाद में दुर्घटनाग्रस्त हो गया. 15 पन्नों वाली रिपोर्ट में कहा गया है कि ‘कॉकपिट वॉयस रिकार्डिंग’ में सुना गया कि एक पायलट ने दूसरे से पूछा कि उसने ईंधन क्यों बंद किया, तो जवाब मिला कि उसने ऐसा नहीं किया.
12 जून को हुआ था विमान हादसा, 241 की गई थी जान
एयर इंडिया की उड़ान संख्या एआई171 12 जून को अहमदाबाद से लंदन के लिए प्रस्थान करने के कुछ ही समय बाद दुर्घटनाग्रस्त हो गई थी. इस हादसे में विमान में सवार 241 लोग और इलाके में अन्य 19 लोग मारे गए थे.