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क्या लक्षद्वीप नहीं झेल पाएगा पर्यटक? सांसद के बयान के बाद खड़े हो रहे सवाल, जानें क्या कहा

लक्षद्वीप के सांसद मोहम्मद फैजल ने कहा है कि लक्षद्वीप के पास इतनी क्षमता नहीं है कि भारी संख्या में पर्यटकों को संभाल सके. उन्होंने बातचीत के क्रम में यह भी कहा है कि अभी हमारे पास होटलों की संख्या काफी कम है साथ ही सीधी उड़ानों की भी भारी कमी है.

India-Maldives Row : भारत और मालदीव के बीच विवाद जारी है. इस विवाद के बीच जब सोशल मीडिया पर कई लोग ये नारा दे रहे है कि ‘छोड़ो मालदीव, चलो लक्षद्वीप’ तब लक्षद्वीप के एक सांसद ने कुछ अलग हो बयान दिया है. मीडिया चैनल एनडीटीवी से बात करते हुए लक्षद्वीप के सांसद मोहम्मद फैजल ने कहा है कि लक्षद्वीप के पास इतनी क्षमता नहीं है कि भारी संख्या में पर्यटकों को संभाल सके. उन्होंने बातचीत के क्रम में यह भी कहा है कि अभी हमारे पास होटलों की संख्या काफी कम है साथ ही सीधी उड़ानों की भी भारी कमी है. उन्होंने कहा कि अगर इन परेशानियों का हाल भी खोज लिया जाए फिर भी द्वीप की नाजुक इकोसिस्टम को ध्यान में रखते हुए यहां आने वाले पर्यटकों की संख्या को नियंत्रित ही रखना होगा.

रिपोर्ट के अनुसार हो पर्यटन की व्यवस्था

बातचीत के क्रम में उन्होंने यह भी कहा है कि लक्षद्वीप, कोरल (coral) से बना है जो कि बहुत संवेदनशील है और पारिस्थितिक रूप से बहुत ही नाजुक है. लक्षद्वीप के सांसद ने कहा कि इसी कारण से सुप्रीम कोर्ट द्वारा नियुक्त न्यायमूर्ति रवींद्रन आयोग ने एक योजना ‘एकीकृत द्वीप प्रबंधन योजना’ बनाई थी. अब सांसद फैजल का कहना है कि इसी आयोग की रिपोर्ट के आधार पर ही लक्षद्वीप का विकास होना चाहिए. उन्होंने इस रिपोर्ट को “विकास के लिए बाइबिल” की तरह बताया साथ ही कहा कि यह “व्यापक रूप से स्वीकृत” योजना में द्वीपों की “वहन क्षमता” और उनमें आने वाले पर्यटकों की संख्या को लेकर भी सुझाव दी गयी है.

लक्षद्वीप में 36 द्वीप, केवल 10 पर ही रहने की अनुमति

सांसद ने आगे यह भी कहा है कि इसी आयोग की सलाह को मानते हुए लक्षद्वीप इस वक्त “उच्च-स्तरीय नियंत्रित पर्यटन” पर ध्यान दे रहा है. साथ ही उन्होंने आने वाले लोगों से यह आह्वान किया कि उन्हें इस बात की सहमति देनी होगी कि उनकी तरफ से कोई भी ऐसा कदम नहीं उठाया जाएगा जिससे पर्यावरण को नुकसान पहुंचे. उन्होंने बताया कि हमारी नीति अभी यही है कि कैसे ज्यादा नियंत्रित पर्यटन से अधिकतम राजस्व जुटाया जा सके. जानकारी हो कि फिलहाल लक्षद्वीप में 36 द्वीप है जिसमें से केवल 10 पर ही अभी लोगों को रहने की अनुमति दी गई है. अभी लक्षद्वीप की केवल 8-10 प्रतिशत आबादी ही ऐसी है जो पर्यटन पर निर्भर है.

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कैसे शुरू हुआ विवाद?

जानकारी हो कि मालदीव के साथ विवाद के कारण, सोशल मीडिया पर कई लोग अब लक्षद्वीप जाने की सोच रहे हैं. ये पूरा विवाद तब शुरू हुआ जब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी लक्षद्वीप का दौरा करने पहुंचे. अपने विजिट की कई तस्वीरों को उन्होंने साझा किये और भारत के पर्यटन क्षेत्रों में जाने का बढ़ावा दिया. इसपर मालदीव के कुछ उपमंत्रियों ने उन्हें ट्रोल किया और कुछ गंभीर आरोप लगाए जिसके बाद से ये पूरा विवाद चल रहा है. इस विवाद के बाद से जहां एक ओर भारत के कई अभिनेता, राजनेता, खिलाड़ी लक्षद्वीप के समर्थन में उतर गए वहीं, उसी दिन से सोशल मीडिया पर बॉयकट मालदीव ट्रेंड करने लगा. साथ ही कई लोगों ने अपने ट्रिप कैंसल भी कर दिए.

Aditya kumar
Aditya kumar
I adore to the field of mass communication and journalism. From 2021, I have worked exclusively in Digital Media. Along with this, there is also experience of ground work for video section as a Reporter.

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