गया जी़ छह वर्षीय मासूम बच्ची के साथ सामूहिक दुष्कर्म के जघन्य मामले में पॉक्सो कोर्ट के विशेष न्यायाधीश अजीत कुमार सिंह की अदालत ने मंगलवार को अभियुक्त को अंतिम सांस तक आजीवन कारावास की सजा सुनाई है. साथ ही अदालत ने 50 हजार रुपये का अर्थदंड भी लगाया है, जिसे पीड़िता को देने का आदेश दिया गया है. इसके अतिरिक्त, अदालत ने अपने आदेश में सरकार को सात लाख रुपये की मुआवजा राशि पीड़िता को देने का निर्देश दिया है. दोषी अभियुक्त शिव शंकर यादव चंदौती थाना क्षेत्र का निवासी है और पीड़िता का सगा चाचा है. सरकारी पक्ष की ओर से विशेष लोक अभियोजक कैसर सरफुद्दीन और कमलेश कुमार सिन्हा ने प्रभावशाली बहस की. उन्होंने अदालत को बताया कि घटना दो फरवरी 2022 की रात की है. घटना के वक्त पीड़िता अपने घर में सो रही थी. रात्रि में बच्ची के माता-पिता की चिल्लाने की आवाज पर जब मां जागी, तो उसने अपनी बेटी को खून से लथपथ पाया. पूछताछ करने पर पीड़िता ने बताया कि किसी व्यक्ति ने उसे ले जाकर उसके साथ गलत काम किया. अगले दिन पुलिस ने जब शिव शंकर यादव को पकड़ा, तो उसके पैंट पर खून के निशान पाये गये, जिसके आधार पर उसे गिरफ्तार किया गया. इस मामले में तीन आरोपी थे. इनमें धर्मेंद्र पासवान की ट्रायल के दौरान ही मौत हो गयी. एक अन्य अभियुक्त का ट्रायल किशोर न्यायालय (जुवेनाइल कोर्ट) में जारी है. गवाही के दौरान पीड़िता ने अदालत में मुख्य अभियुक्त शिव शंकर यादव की पहचान की थी. चिकित्सीय रिपोर्ट में भी दुष्कर्म की पुष्टि हुई थी.
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