जहानाबाद. जिले में डायरिया का प्रकोप जारी है. खासकर काको प्रखंड मुख्यालय के विभिन्न मोहल्ले में डायरिया का इन्फेक्शन थमने का नाम नहीं ले रहा है. शनिवार को डायरिया से फिर एक अधेड़ की मौत हो गयी. मृतक सुरेश पासवान 55 वर्ष को पांच दिन पहले डायरिया का इंफेक्शन हुआ था, इसके बाद उन्हें इलाज के लिए काको सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में ले जाया गया था, जहां इलाज के बाद उन्हें वापस घर भेज दिया गया था. शनिवार को फिर से उन्हें दस्त और वोमिटिंग की शिकायत हुई. इसके बाद इलाज के लिए सुरेश पासवान को सदर अस्पताल जहानाबाद लाया गया, जहां उनकी मौत हो गयी. इससे पहले भी काको में एक बच्ची और एक महिला की डायरिया से मौत हो चुकी है. हालांकि स्वास्थ्य विभाग और जिला प्रशासन के द्वारा अभी तक डायरिया के मामले में एक भी मौत की पुष्टि नहीं की गयी है. सुरेश पासवान की मौत के बारे में पूछे जाने पर जिलाधिकारी अलंकृत पांडे ने बताया कि वह सदर अस्पताल निरीक्षण के लिए गयी थी उस समय तक सिविल सर्जन के द्वारा उन्हें ऐसी कोई बात नहीं बतायी गयी. डीएम ने बताया कि काको में सफाई व्यवस्था और जल आपूर्ति की समस्या है. वहां स्वच्छता की कमी है. इस मामले में नगर पंचायत काको के कार्यपालक पदाधिकारी और सफाई निरीक्षक से स्पष्टीकरण पूछा गया है. नल जल के पानी में लीकेज को दूर कर पानी की स्वच्छता बनाये रखने का निर्देश दिया गया है. सदर अस्पताल और काको सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में आने वाले मरीजों को बेहतर स्वास्थ्य सुविधाएं उपलब्ध कराने का भी निर्देश सिविल सर्जन को दिया गया है. ज्ञात हो कि अभी भी डायरिया से ग्रसित मरीजों का अस्पताल में आना अनवरत जारी है. जहानाबाद सदर अस्पताल में अपराह्न तक डायरिया के इलाज के लिए 14 मरीज आ चुके थे. सदर अस्पताल का हाल यह है कि वहां मरीजों को रखने के लिए बेड उपलब्ध नहीं हो रहे हैं. सदर अस्पताल की इमरजेंसी से लेकर वार्ड और पिक्कू वार्ड तक में मरीज ठसाठस भरे हुए हैं. अस्पताल के अंदर मरीज को रखने के लिए जगह तक नहीं है. इसी कारण सदर अस्पताल के बाहर खुले मैदान में मरीज के परिजनों के बैठने के लिए बनाये गये शेड में बेड लगाये गये हैं. इस शेड के ऊपर केवल प्लास्टिक का सीट है, जिसके चारों ओर से खुला हुआ है. ऊपर छावनी के रूप में दिया गया प्लास्टिक का शेड भी कई जगह से टूटा और क्षतिग्रस्त है. शेड से बारिश का पानी रोकने के लिए उसे पर तिरपाल डाला गया है. शनिवार को इस शेड में भी सदर अस्पताल में भर्ती मरीजों को रखने का काम शुरू हो गया.
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