हर हर महादेव के जयघोष से गुंजायमान हुआ शिवालय गोगरी. श्रावण मास की तीसरी सोमवारी को शहर समेत अनुमंडल भर के सभी शिवालय हर-हर महादेव के जयघोष से गुंजायमान होता रहा. इस बार सावन में चार सोमवारी का संयोग हुआ है. सुबह से ही अनुमंडल क्षेत्र में लगातार बारिश होने के बावजूद तीसरी सोमवार को भगवान शंकर के पूजा-अर्चना को उनके भक्त तड़के से ही मंदिरों में पहुंचने लगे थे. जिनके आने-जाने का सिलसिला दोपहर बाद तक चलता रहा. इस दरम्यान वैदिक मंत्रोच्चारण के साथ देवाधिदेव महादेव की आराधना की गयी. घड़ियाली घंटे व शंख ध्वनियों बीच भोले बाबा की आरती उतारी गयी. आस्था की इस फुहार से पूरा वातावरण सोमवार को भक्तिमय बन गया था. इस बार की सावन माह गजब संयोग के साथ आया है. ज्योतिषाचार्य के अनुसार काफी फलदाई होने वाला है. पर्व के मद्देनजर शाम की विशिष्ट पूजा के बाद कई देवालयों में महाआरती कर भजन कीर्तन किये गए और प्रसाद का वितरण किया गया. जिससे पूरा वातावरण भक्तिमय व देवस्थल शिवमय हो गया था. पौराणिक आख्यानों के मुताबिक श्रावण मास भगवान शिव का अतिशय प्रिय महीना है. जिसमें सोमवारी पूजन का विशेष महत्व है. श्रद्धालु सुबह बिस्तर छोडने के साथ ही उनकी पूजा की तैयारियों में जुट गए. नित्य क्रिया से निबटने के तुरंत बाद गंगा स्नान किया तथा विभिन्न शिव मंदिरों में जाकर अपने आराध्य का दर्शन व पूजन कर मत्था टेका. कई भक्तों ने बताया कि देवों के देव महादेव की उपासना में वे 24 घंटे का उपवास भी रखे हुए है. इस विशेष तिथि की पूजन को ले शहर से लेकर गांव तक रविवार की रात्रि से ही उत्साह देखा गया. भक्तजन रविवार रात्रि में हजारों की संख्या में उत्तर वाहिनी अगुवानी घाट पर एकत्रित हो कर जल लेकर रात भर की पैदल यात्रा कर क्षेत्र के नवरत्न पुरानी शिवमंदिर जमालपुर, बाबा चंपेश्वर नाथ शिवालय, गोगरी शिवालय सहित कई शिवालयों में जलाभिषेक किया. देवरी शिव मंदिर समेत अन्य शिवालयों में श्रद्धालुओं का तांता लगा रहा. तीसरी सोमवारी में अनुमंडल क्षेत्र के शिवालयों को खासकर नवरत्न पुरानी शिव मंदिर जमालपुर व बाबा चंपेश्वर नाथ शिव मंदिर कुर्मी टोला को विशेष रूप से सजाया गया है. नवरत्न पुरानी शिव मंदिर जमालपुर में भक्ति जागरण का कार्यक्रम भी होगा.
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