::: वर्ष 2041 की संभावित जनसंख्या को ध्यान में रखते हुए सरकार विकास को लेकर तैयार करा रही है मास्टर प्लान, मेरठ की एजेंसी को जिम्मेदारी
::: 11 चरणों में काम को पूरा करने के बाद बनेगा मास्टर प्लान, अभी पांचवें चरण का चल रहा है कार्य
वरीय संवाददाता, मुजफ्फरपुर
मुजफ्फरपुर शहर और इससे सटे ग्रेटर मुजफ्फरपुर के समेकित विकास को लेकर तैयार हो रहे मास्टर प्लान पर प्रशासनिक सक्रियता बढ़ गयी है. गुरुवार को कलेक्ट्रेट में हुई एक महत्वपूर्ण बैठक में अब तक हुई प्रगति की समीक्षा की गयी और कार्य में तेजी लाने पर जोर दिया गया. जिलाधिकारी सुब्रत कुमार सेन की अनुपस्थिति में नगर आयुक्त सह प्रभारी जिलाधिकारी विक्रम विरकर ने विभिन्न विभागों के पदाधिकारियों के साथ बैठक की अध्यक्षता की. इस दौरान, प्रभारी जिलाधिकारी ने कांटी नगर परिषद और माधोपुर सुस्ता नगर पंचायत के कार्यपालक पदाधिकारियों को अपने क्षेत्र की सरकारी जमीनों को चिह्नित करने और चल रही विकास योजनाओं की विस्तृत जानकारी उपलब्ध कराने का निर्देश दिया. इसके अतिरिक्त, आयोजना क्षेत्र में शामिल मुजफ्फरपुर शहर से सटे प्रखंडों-बोचहां, मड़वन, कांटी, कुढ़नी और मुशहरी के पदाधिकारियों को भी मास्टर प्लान बना रही एजेंसी को आवश्यक जानकारी प्रदान करने के लिए निर्देशित किया गया. वर्ष 2041 की संभावित जनसंख्या को ध्यान में रखते हुए सरकार मुजफ्फरपुर का मास्टर प्लान तैयार करा रही है. यह गौरतलब है कि आयोजना क्षेत्र के कई इलाकों में शहर जैसी सघन आबादी है, जहां नये मोहल्लों के बसने के साथ-साथ अपार्टमेंट और बड़े-बड़े मॉल का निर्माण तेजी से हो रहा है. निर्माण सामग्री की बिक्री भी ग्रेटर मुजफ्फरपुर के 216 गांवों में सबसे अधिक है. हालांकि, सरकार की आवासीय और कॉमर्शियल कॉम्प्लेक्स बनाने की नियोजित कार्ययोजना अभी तक पूरी तरह से फलीभूत होती नहीं दिख रही है. नगर निगम के अंतर्गत मुजफ्फरपुर आयोजना क्षेत्र को आये लगभग दो साल होने को है. इसमें जिले के छह प्रखंडों के कुल 216 गांव शामिल हैं. लेकिन, अब तक नगर निगम में खुले मुजफ्फरपुर आयोजना क्षेत्र के कार्यालय में मकान के निर्माण से पहले नक्शा स्वीकृति के लिए काफी कम आवेदन जमा हुए हैं. ऐसे में यह सवाल उठता है कि क्या बिना नक्शा स्वीकृति या फिर फर्जी नक्शा के आधार पर आवासीय व कॉमर्शियल भवनों का निर्माण हो रहा है. यह बेतरतीब निर्माण वर्ष 2041 की संभावित जनसंख्या के आधार पर तैयार हो रहे मास्टर प्लान के लिए एक बड़ी बाधा बन सकता है.
बॉक्स: 265.71 वर्ग किमी है ग्रेटर मुजफ्फरपुर का क्षेत्रफल
नगर निगम क्षेत्र को मिलाकर ग्रेटर मुजफ्फरपुर का कुल क्षेत्रफल 265.71 वर्ग किलोमीटर हो गया है. इसमें शहरी क्षेत्र का 47.08 वर्ग किलोमीटर और शेष 218.63 वर्ग किलोमीटर का क्षेत्र मुजफ्फरपुर नगर निगम से सटे मुजफ्फरपुर आयोजना के लिए चयनित 216 गांवों का है. इन गांवों में मुशहरी प्रखंड के 115, कांटी के 43, मड़वन के 23, कुढ़नी के 18, बोचहां के 10 और मीनापुर के 07 राजस्व ग्राम शामिल हैं.
ये है आयोजना क्षेत्र में शामिल राजस्व ग्राम
उत्तर :
पूर्वी भाग में बोचहां के मिर्जापुर, पटियासा, युसूफ पट्टी, सादुल्लापुर, मुशहरी के झपहां, कांटी के दादर कोल्हुआ, मिठनसराय, गोसाईंपुर, धमौली रामनाथ, मीनापुर के चंदपरणा, रायपुरा उर्फ शाहपुर लखन, बिसुनपुर केसो उर्फ किसुनपुरकंत, मुरसंड होते हुए पश्चिमी भाग में पर्षद तक.
दक्षिण :
पूर्वी भाग में मुशहरी के मानसी, नवादा उर्फ बिशनपुर भगवानपुर, नरसिंहपुर, सामापुर उर्फ नंदग्रामपुर, चक अलहदाद, कुढ़नी के चैनपुर, बंगरा, बाजिद, मथुरापुर, चकमेहसी, चक भिखी, बिसुनपुर गिधा, कफेन दरिया, छपरा, लदौड़ा, सुमेरा उर्फ अफजलपुर माधो, मुशहरी के धर्मपुर, मधुबनी से होते हुए पश्चिम भाग में मादापुर चौबे तक.पूरब :
उत्तरी भाग में बोचहां के गिद्धा उर्फ मेचहां, फारूकपुर, हमीदपुर, मुशहरी के बहादुरपुर, पीर मोहम्मदपुर, नंदू चक उर्फ युसुफपुर, मुसहरी के राधानगर, मनिका हरकिशुन, मानसी, नवादा उर्फ बिशुनपुर भगवान, नरसिंहपुर से होते हुए दक्षिण में नया गांव तक.पश्चिम :
उत्तरी भाग में कांटी के माधोपुर, दुल्हन उर्फ धेबाहन, रतनपुरा, कांटी खुर्द, कुशी उर्फ हरपुर, भगवानपुर, बसंतपुर कांटी, भेरियाही नारायण, सिरसियान बुजुर्ग, मिर्जापुर, अजीजपुर, हिचरा पानापुर हवेली, मड़वन के मिठनपुरा, कांटी के हरपुर गणेश, मड़वन के बठना राम, डीह, कोडरिया निजामुद्दीन से होते हुए दक्षिण भाग में पकाही खास तक.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है