:: स्नातक में सेमेस्टर सिस्टम लागू होने के बाद बढ़ रहा है लोड, अबतक एक भी सेमेस्टर का जारी नहीं किया जा सका अंकपत्र
:: फॉर्मेट में फंसा था पेच, स्वीकृति मिलने के बाद भी अबतक शुरू नहीं हो सकी है अंकपत्र की छपाई
वरीय संवाददाता, मुजफ्फरपुर बीआरए बिहार विश्वविद्यालय में स्नातक में सत्र 2023-27 से च्वाइस बेस्ड क्रेडिट सिस्टम लागू होने के बाद अबतक एक भी सेमेस्टर का अंकपत्र जारी नहीं किया गया है. इस सत्र के तीन सेमेस्टर की परीक्षा हो चुकी है. जबकि दो परीक्षाओं का परिणाम भी जारी किया जा चुका है. इसके बाद 2024-28 सत्र के प्रथम सेमेस्टर का भी परिणाम जारी हो चुका है. ऐसे में तीन सेमेस्टर के विद्यार्थियों का चार लाख से अधिक अंकपत्र की छपाई नहीं हुई है. इस कारण विद्यार्थी परेशान हैं. पहले तो नया सिस्टम लागू हाेने के बाद अंकपत्र का फॉर्मेट निर्धारित नहीं होने से पेच फंसा हुआ था. इसकी स्वीकृति मिल जाने के बाद अब छपाई में दो एजेंसियों के बीच तालमेल के अभाव में अंकपत्र की छपाई शुरू नहीं हो सकी है. परीक्षा से जुड़े कार्यों का संचालन अलग-अलग एजेंसियां कर रही हैं. मिली जानकारी के अनुसार एक एजेंसी को स्वीकृत फॉर्मेट के अनुसार ब्लैंक अंकपत्र प्रिंट कर देना है. दूसरी एजेंसी इसमें अंक फीड कर उसे प्रिंट करेगी. इसके बाद कॉलेजों काे अंकपत्र भेजा जाएगा. परीक्षा विभाग का कहना है कि शीघ्र अंकपत्र विद्यार्थियों को मिल सके इसको लेकर एजेंसी से बात की जा रही है.चौथे सेमेस्टर की परीक्षा की तैयारी, पहले का भी अंकपत्र नहीं मिला
स्नातक सत्र 2023-27 में दाखिला लेने वाले विद्यार्थियों के चौथे सेमेस्टर की परीक्षा को लेकर तैयारी चल रही है. जबकि अबतक प्रथम सेमेस्टर का भी अंकपत्र जारी नहीं हो सका है. छात्र संवाद में भी कई बार विद्यार्थी इसकी शिकायत कर चुके हैं. उन्हें आश्वासन देकर लौटा दिया गया, लेकिन अबतक अंकपत्र की छपाई शुरू नहीं हो सकी है.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है