सहरसा . विद्युत आपूर्ति प्रमंडल सहरसा के घरेलू उपभोक्ताओं को प्रतिमाह 125 यूनिट तक पूर्ण अनुदान पर एक अगस्त से निशुल्क बिजली उपलब्ध करायी जायेगी. विद्युत कार्यपालक अभियंता अमित कुमार ने बताया कि सहरसा प्रमंडल में लगभग एक लाख 78 हजार 422 सक्रिय उपभोक्ता हैं. जिसमें लगभग एक लाख 55 हजार 506 विद्युत उपभोक्ताओं को बिजली बिल का लाभ मिलेगा. उन्होंने बताया कि प्रति माह 125 यूनिट तक बिजली पूरी तरह मुफ्त मिलेगी. इसमें ऊर्जा शुल्क, फिक्सड चार्ज व बिजली शुल्क तीनों शामिल है. पहले 125 यूनिट बिजली पूरी तरह मुफ्त होंगे. इसके अतिरिक्त एक यूनिट पर पूर्व से लागू अनुदान दर से बिल बनेगा. साथ ही उसी एक यूनिट पर बिजली शुल्क लिया जायेगा एवं फिक्सड चार्ज उठे हुए भार या स्वीकृत भार का 75 प्रतिशत दोनो में से जो अधिक हो पूरे विपत्रित अवधि के लिए भारित होगा. 125 यूनिट से अधिक खपत होने पर एवं स्वीकृत भार से अधिक भार का उपयोग किये जाने पर पूर्व की तरह आधिक्य भार शुल्क देना होगा. मासिक खपत यूनिट की गणना 30 दिनों के आधार पर की जाती है. उन्होंने कहा कि किसी उपभोक्ता का पिछले विपत्र से वर्तमान विपत्र की अवधि 40 दिनों की है एवं उनका खपत 40 दिनों में 200 यूनिट होता है तो अनुपात के आधार पर उनको वर्तमान विपत्र में 167 यूनिट पर कोई शुल्क देय नहीं होगा. शेष 33 यूनिट खपत की गणना क्रम संख्या दो के अनुसार की जायेगी. किसी उपभोक्ता का पिछले विपत्र से वर्तमान विपत्र की अवधि 25 दिनों की है एवं उनका खपत 25 दिनों में 125 यूनिट होता है तो अनुपात के आधार पर उनको वर्तमान विपत्र में 104 यूनिट पर कोई शुल्क देय नहीं होगा एवं शेष 21 यूनिट खपत की गणना क्रम संख्या दो के अनुसार की जायेगी. 125 यूनिट के बाद भी राज्य सरकार की मौजूदा बिजली सब्सिडी योजना लागू रहेगी. जुलाई 2025 से पहले का बकाया राशि उपभोक्ता द्वारा देय होगा. पूर्व से ही विद्युत विपत्र पर राज्य सरकार द्वारा मुख्यमंत्री विद्युत उपभोक्ता सहायता योजना के तहत अनुदान दिया जा रहा है. विस्तारित योजना 125 यूनिट प्रतिमाह खपत तक निशुल्क बिजली के पात्र सभी घरेलू उपभोक्ता होंगे. उपभोक्ताओं को अगले तीन वर्षों में 1.1 किलोवाट सौर संयंत्र लगाने के लिए प्रोत्साहित किया जायेगा. जिसमें कुटीर ज्योति उपभोक्ताओं को सरकार द्वारा पूर्ण वित्तीय सहायता दी जायेगी एवं अन्य घरेलू उपभोक्ताओं को भी अतिरिक्त सब्सिडी का प्रावधान किया जायेगा. तीन वर्ष के अंदर सौर ऊर्जा संयंत्र स्थापित करने के लिए प्रोत्साहित किया जाएगा. जिसके लिए एक सहमति आधारित कार्यप्रणाली तैयार की जाएगी. यह योजना शहरी एवं ग्रामीण सभी घरेलू उपभोक्ताओं के लिए एवं पूरे बिहार के लिए सार्वभौमिक योजना है.
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