रंजीत कुमार, बोकारो, चास बाइपास रोड आस्था ज्वेलर्स में 23 जून को हुई डेढ़ करोड़ की लूट कांड के मुख्य सूत्रधार बिहार के बेउर जेल में बंद साइको किलर अविनाश श्रीवास्तव को बोकारो पुलिस लाने की तैयारी में जुट गयी है. कागजी कार्रवाई शुरू कर दी गयी है, ताकि कोर्ट से रिमांड पर अविनाश को लिया जा सके. कांड के छह आरोपियों को बोकारो पुलिस पटना से गिरफ्तार कर जेल भेज चुकी है. अविनाश के इशारे पर चास में ज्वेलर्स प्रतिष्ठान में लूट की गयी थी. गिरफ्तार लुटेरों से पूछताछ के बाद अविनाश का नाम का खुलासा हुआ. साथ ही पता चला कि लूट की घटना का मास्टरमाइंड व मुख्य सूत्रधार अविनाश श्रीवास्तव है. गिरोह ने सबसे पहले धनबाद व जमशेदपुर में लूट की घटनाओं को अंजाम दिया. इसके बाद चास के आस्था ज्वेलर्स को निशाना बनाया. पुरुलिया के सिंह होटल में बैठकर फुलप्रूफ प्लानिंग हुई. योजना में जेल में बंद सुबोध व शेरू से भी मदद ली गयी.
बोकारो पुलिस की तकनीकी सेल 24 घंटे संगठित अपराध के नेटवर्क को ध्वस्त करने में जुटी
एसपी हरविंदर सिंह की अगुवाई में बोकारो पुलिस की तकनीकी सेल 24 घंटे संगठित अपराध के नेटवर्क को ध्वस्त करने में जुटी है. बिहार, झारखंड व बंगाल में फैले अंतरराज्यीय गैंग को रोकने के लिए क्रॉस बॉर्डर पुलिसिंग को मजबूत करने कवायद शुरू कर दी गयी है. आस्था ज्वेलर्स लूट कांड की जांच के लिए बनी विशेष जांच टीम (एसआइटी) के अनुसार डेढ़ करोड़ की लूट में अब तक केवल सात लाख के जेवर बरामद हुए हैं.
पटना आ गये थे आरोपी
23 जून को लूट के बाद सभी पटना आ गये थे. आलमगंज इलाके में एक मकान में किराये के फ्लैट में छिप गये थे. झारखंड एसटीएफ व बिहार एसटीएफ के इनपुट के आधार पर पटना पुलिस व पटना एसटीएफ ने चार लुटेरा राहुल पटेल उर्फ डायमंड, रौशन सिंह, नितेश कुमार व आदित्य राय को गिरफ्तार कर लिया था. जबकि मोतिहारी से प्रिंस और मुसाफिर हवारी को पकड़ा था. इन लोगों के पास से लूटे गये करीब 10 लाख के गहने, 13 हजार 820 रुपये नकद व दो कार बरामद हुई थी. एसआइटी की कई टीमें तीन राज्यों झारखंड, बिहार व बंगाल के संभावित ठिकानों पर लगातार छापेमारी कर रही हैं. गिरफ्तार आरोपियों से पूछताछ में पता चला कि लूट के शेष गहने गैंग के सदस्य देवा व वीरू के पास हैं. एसआइटी कार चालक अक्षय से भी पूछताछ में जुटी हुई है.
कई हत्याओं का है आरोप अविनाश पर
अविनाश बिहार के पूर्व एमएलसी ललन श्रीवास्तव का पुत्र है. पटना में एमआइजी कॉलोनी में रहता था. अविनाश ने जामिया मिलिया विवि से एमसीए की पढ़ाई पूरी की है. इंफोसिस जैसी बड़ी कंपनी में काम कर चुका है. कई किताबें भी लिख चुका है. ललन श्रीवास्तव की वर्ष 2002 में हत्या कर दी गयी थी. अपने पिता की हत्या में शामिल मोइन खान उर्फ पप्पू खान की वर्ष 2003 में गोली मार कर हत्या कर दी. सुपारी किलिंग से लेकर लूट व डकैती की दुनिया का जाना-माना नाम बन गया है. अविनाश पटना में एक हत्या करने के बाद नेपाल भागने की कोशिश की थी. पटना एसटीएफ ने रक्सौल से गिरफ्तार कर बेउर जेल भेज दिया. यही से अविनाश ने अपराध की दुनियां में कदम रखा था. अब तक कई हत्या व आपराधिक वारदातों को अंजाम दे चुका है. बेउर जेल में अविनाश ने मोस्ट वाटेंड अपराधी सुबोध सिंह व शेरू सिंह के साथ लंबा वक्त बिताया. सुबोध व शेरू पश्चिम बंगाल के पुरुलिया में मुथूट फथनेस लूटकांड में गिरफ्तार हुए. वर्तमान में पुरुलिया जेल में बंद हैं.
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