Bokaro News : सीसीएल ढोरी एरिया की ढोरी खास चार, पांच व छह नंबर भूमिगत खदान में 17 जून की रात आग लगने की घटना के बाद से पिछले तीन दिनों से कोयला उत्पादन बाधित है. खदान में रेस्क्यू टीम ऑपरेशन चला रही है. रेस्क्यू में पता चला है कि आग की लपटें व धुआं निकलना बंद हो गया है, लेकिन घटना स्थल पर अभी भी भाप मार रहा है और सरफेस गर्म है. उसे पूरी तरह खत्म करने के लिए रेस्क्यू टीम द्वारा पानी व बालू डलवाया जा रहा है. घटनास्थल पर जले कोयले को काट कर हटाया जा रहा है. इसमें रामगढ़ की रेस्क्यू टीम विकास कुमार के नेतृत्व में ढोरी, बीएंडके व कथारा के लगभग 35 सदस्यीय टीम लगी है.
डीजीएमएस ने अगले आदेश तक काम बंद रखने का दिया निर्देश
कोडरमा रीजन के डीजीएमएस नरेश तेजावत ने सुरक्षा को लेकर प्रबंधन को कुछ मापदंड को पूरा करने का निर्देश देते हुए अगले आदेश तक भूमिगत खदान में कोयला उत्पादन बंद करा दिया है. प्रबंधन ने खदान के दो मुख्य द्वार पर नोटिस चिपका दिया गया है. खदान में आग कैसे लगी, इसकी जांच जारी है. सीसीएल मुख्यालय ने वित्तीय वर्ष 2025-26 में ढोरी खास को एक लाख टन कोयला उत्पादन का लक्ष्य दिया है. प्रबंधन द्वारा रोजाना लगभग 400 टन कोयला उत्पादन किया जा रहा था. जो घटना के बाद से बंद है. वहीं बगल स्थित सात व आठ नंबर भूमिगत खदान में उत्पादन जारी है. दोनों खदान में 525 मैनपावर है. चार, पांच व छह नंबर खदान में 212 टीआर व 35 एमआर मजदूर और 15 अधिकारी कार्यरत हैं. खदान को विभागीय चलाया जा रहा है. 17 जून ढोरी खास परियोजना के 4,5,6 भूमिगत खदान के पंखा घर के इंट्री प्वाइंट के एक नंबर पिलर में आग लग गयी. घटना के बाद वहां काम कर रहे 42 मजदूरों को सुरक्षित निकाला गया था.
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