श्री बंशीधर नगर.
स्थानीय सरस्वती विद्या मंदिर में शनिवार को दादा-दादी, नाना-नानी सम्मान समारोह का आयोजन किया गया. समारोह का शुभारंभ समिति के अध्यक्ष जोखू प्रसाद, सचिव रविप्रकाश, सह सचिव चंदन कुमार, कोषाध्यक्ष राजकुमार प्रसाद, अभिभावक प्रतिनिधि शशिकला, शैलेंद्री देवी एवं प्रधानाचार्य रविकांत पाठक ने संयुक्त रूप से मां शारदे, भारतमाता एवं ॐ के चित्र के समक्ष दीप प्रज्वलित कर एवं पुष्पार्चन कर किया. इस अवसर पर प्रधानाचार्य रविकांत पाठक ने कहा कि दादा-दादी, नाना-नानी परिवार की रीढ़ होते हैं. अपने नाती-पोतियों से इनका बहुत लगाव होता है. आज के परिवेश में अपने बच्चों द्वारा घर में दादा-दादी, नाना-नानी के सम्मान में वृद्धि हो, इसी उद्देश्य से इस तरह का आयोजन प्रतिवर्ष किया जाता है. कार्यक्रम में समिति के कोषाध्यक्ष राजकुमार प्रसाद ने कहा कि दादा-दादी व नाना-नानी बच्चों के प्रथम मित्र होते हैं. उनके द्वारा दी गई सूक्ष्म संस्कारों का नाती-पोता अनुकरण करते हैं. दादी से कहानी, लोरी व गीत सुनते हैं. उनके साथ सुखद अनुभूति होती है. इस दौरान उन्होंने अपने पोते-पोतियों के साथ सुखद प्रेरणाप्रद संस्मरण भी साझा किये. कार्यक्रम में विद्यालय की बहन आराधना शर्मा, सूची पांडेय, पीहू अग्रवाल और शचि समृद्धि ने स्वागत गीत गाया. इसके बाद कक्षा अरुण एवं उदय की बहनों ने भावपूर्ण नृत्य नानी तेरी मोरनी को मोर लेे गया…., कक्षा प्रभात और प्रथम की बहनों ने दादाजी की छड़ी…. शीर्षक गीत पर मनोहारी नृत्य प्रस्तुत किया. इसी तरह से कक्षा प्रथम और द्वितीय की बहनों ने प्यारी-प्यारी दादी मां…… नृत्य प्रस्तुत किया. समारोह में उपस्थित सभी दादा-दादी, नाना-नानी के पांव धोकर उन्हें उपहार दिये गये. उपस्थित लोग : समारोह में आचार्य नंदलाल पांडेय, सुधीर प्रसाद श्रीवास्तव, कृष्ण कुमार पांडेय, सतेंद्र प्रजापति व अविनाश कुमार सहित काफी संख्या में दादा-दादी व नाना-नानी व विद्यार्थी उपस्थित थे.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है