Seraikela News | सरायकेला, शचिंद्र दाश: सरायकेला में भारी बारिश के कारण जलभराव की स्थिति से निपटने के लिए जिला प्रशासन अलर्ट मोड पर है. इसे लेकर रायरंगपुर सिंचाई प्रमंडल सिंहभूम ने हाल में हुई तेज बारिश और जलभराव की स्थिति से उपायुक्त को अवगत कराया. प्रमंडल की ओर से कहा गया कि जलजमाव को ध्यान में रखते हुए आईआईटी खड़गपुर की अनुशंसा पर बैंकरा जलाशय से निर्धारित मात्रा में जल छोड़ने का निर्णय लिया गया है.
डीसी ने तुरंत लिया एक्शन
यह जानकारी मिलते ही सरायकेला-खरसावां के डीसी उक्त नितिश कुमार सिंह ने संभावित आपदा जोखिम को ध्यान में रखते हुए जिले की सभी कार्यपालक और तकनीकी इकाइयों को तत्काल प्रभाव से हाई अलर्ट पर रहने का आदेश दिया. इसके अलावा डीसी की ओर से सुनियोजित एवं समन्वित कार्रवाई सुनिश्चित करने के स्पष्ट निर्देश जारी किए गए हैं. डीसी नितिश कुमार सिंह ने कई निर्देश दिये हैं:
1. संवेदनशील क्षेत्र चिह्नित कर त्वरित निगरानी प्रारंभ की जाए
डीसी नितिश कुमार सिंह ने बैंकरा जलाशय, स्वर्णरेखा/खरकई नदी और चांडिल डैम से सटे संभावित बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों की पहचान कर वार रूम आधारित निगरानी तंत्र सक्रिय करने का निर्देश दिया. डीसी ने इन इलाकों की निगरानी तुरंत शुरू करने का आदेश दिया.
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2. स्थानीय प्रशासनिक इकाइयां रहें सतर्क
इसके साथ ही सरायकेला-खरसावां के उपायुक्त ने संबंधित प्रखंड विकास पदाधिकारी, अंचलाधिकारी और नगर निकाय पदाधिकारियों को निर्देश दिया गया है कि वे अपने क्षेत्र के जलग्रहण क्षेत्रों में माइकिंग, पर्चा वितरण, चौकीदार/दैनिक सेवकों के माध्यम से सतर्कता सूचना प्रसारित करें.
3. सार्वजनिक जल स्रोतों की करें नियमित जांच
डीसी नितिश कुमार सिंह ने इस दौरान जल प्रदूषण की आशंका को ध्यान में रखते हुए जलापूर्ति एवं स्वच्छता विभाग को पीने के पानी की वैकल्पिक व्यवस्था सुनिश्चित करने को कहा है. साथ ही सार्वजनिक जल स्रोतों की सुरक्षित आपूर्ति व्यवस्था करने के लिए आवश्यक निर्देश दिये हैं.
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4. कृषि एवं पशुधन की क्षति कम हो
इस दौरान कृषि और पशुधन की क्षति न्यूनतम सुनिश्चित करने को कहा गया है. इसके लिए तकनीकी सहायता उपलब्ध कराने की बात कही गयी. इस संबंध में कृषि, पशुपालन, मत्स्य एवं उद्यान विभागों को समन्वय कर संवेदनशील इलाकों में सघन भ्रमण और फसल/पशुधन की सुरक्षा के लिए सलाह और मदद देने का निर्देश दिया गया है.
5. अलर्ट मोड में स्वास्थ्य विभाग
इधर, स्वास्थ्य विभाग को भी अलर्ट मोड में रहने को कहा गया है. इसे लेकर सिविल सर्जन को निर्देश दिया गया है कि सभी स्वास्थ्य केंद्रों को आपात सेवाओं के लिए तैयार रखा जाए. इसके साथ ही प्रभावित क्षेत्रों में MMU एवं एम्बुलेंस की तैनाती सुनिश्चित की जाए.
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6. आपदा प्रबंधन के लिए समन्वय और नियंत्रण व्यवस्था सुदृढ़ करें
अपर उपायुक्त को जिला स्तरीय समन्वयक नियुक्त करते हुए निर्देश दिया गया है कि वे सभी विभागों के बीच सूचना का त्वरित आदान-प्रदान करें. साथ ही आवश्यक निर्णय क्रियान्वयन सुनिश्चित करें.
7. राहत व पुनर्वास की तैयारी पहले सुनिश्चित हो
अनुमंडल पदाधिकारी एवं अंचलाधिकारियों को निर्देश दिया गया है कि जलस्तर में अप्रत्याशित वृद्धि की स्थिति में 24×7 राहत एवं आपूर्ति केंद्र सक्रिय किए जायें. साथ ही लोगों को सुरक्षित जगहों पर ट्रांसफर करने की रणनीति पहले सी ही तैयार रखें.
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