आसनसोल.
आसनसोल शहर को अतिक्रमण मुक्त करने के नगर निगम के प्रयास को हर बार हॉटन रोड में आकर झटका लग जाता है. जुबली मोड़ से गिरजा मोड़ तक बुलडोजर लगाकर अवैध निर्माणों को कई चरणों में हटाया गया, लेकिन हॉटन रोड में निगम के इस अभियान को ब्रेक लग जाता है और बुलडोजर की जगह मेयर हाथ जोड़कर लोगों से अवैध निर्माण हटाने की अपील करते हैं. 14 दिसंबर 2023 को हॉटन रोड किनारे बने अवैध निर्माणों को तोड़ने का आदेश मेयर विधान उपाध्याय ने दिया था. उस दौरान उन्होंने कहा था कि कुछ लोगों की सुविधा के लिए लाखों लोगों की दिक्कत को बर्दाश्त नहीं किया जा सकता है. 14 दिसंबर 2023 को अभियान रूक गया. उस दौरान अवैध कब्जा करने वालों को कहा गया कि थोड़ा पीछे हट जाएं ताकि सड़क पर जाम न हो. उस समय यह बात आयी कि सामने 2024 का लोकसभा का चुनाव है, यहां अतिक्रमण मुक्त अभियान का असर चुनाव पर पड़ेगा. क्योंकि यहां सबसे बड़ा वोट बैंक है. 14 दिसंबर के बाद पुनः एकबार 22 मई को अवैध निर्माणों को हटाने का निर्णय लिया गया है. इसबार स्थिति क्या होगी? यह 22 मई को ही पता चलेगा. गौरतलब है कि 25 फरवरी 2022 को आसनसोल नगर निगम के मेयर पद का शपथ ग्रहण करने का बाद अपनी पहली संबोधन में उन्होंने कहा था कि आसनसोल शहर को सुंदर और जाममुक्त बनाना उनकी प्राथमिकता है. इसी के आधार पर उन्होंने अपना काम भी किया. जुबली मोड़ से भगत सिंह मोड़ और यहां से गिरजा मोड़ तक सड़क के दोनों किनारे बने अवैध निर्माणों को ध्वस्त किया और अनेकों जगह सड़क किनारे ग्रिल लगाकर घेराबंदी की, ताकि पुनः अवैध कब्जा न हो. उस समय भी दो बार हॉटन रोड पर अवैध निर्माणों को तोड़ने का कार्य रूक गया. जिसे लेकर काफी समालोचना भी हुई. आखिरकार पुनः 22 मई को अतिक्रमण मुक्त करने का निर्णय लिया गया है.हॉटन रोड है आसनसोल का हृदय स्थल, जिला अस्पताल जाने में फंस जाती है एंबुलेंस
हॉटन रोड को आसनसोल शहर का हृदय स्थल माना जाता है. यहां सीटी बस स्टैंड भी है. बस यात्रियों को यहां उतर कर विभिन्न जगहों पर जाना पड़ता है. ऐसे में यहां शहर के अन्य जगहों की तुलना में भीड़ ज्यादा रहती है. यहां यात्री से ज्यादा ऑटो और टोटो नजर आएंगे. इन्हें आने-जाने के लिए सड़क किनारे अवैध कब्जा से जाम की समस्या सभी के लिए परेशानी का कारण बन है. जिला अस्पताल जाने के लिए हॉटन रोड होकर एम्बुलेंस का गुजरना एक बड़ी चुनौती हो जाती है. प्रशासन को जाममुक्त बनाने का अभियान यहां हर बार विफल हुआ है. पुलिस की ओर से भी सीटी बस स्टैंड के सामने अवैध ऑटो-टोटो स्टैंड को हटाने का अनेकों बार प्रयास किया गया, लेकिन स्थिति में कोई बदलाव नहीं हुआ. अब टोटो के लिए स्टैंड बनाया गया है, इससे भी क्या स्थिति में कोई बदलाव आएगी? लोगों के मन में यह सबसे बड़ा सवाल है.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है