कोलकाता. विधानसभा के प्रश्नकाल में तृणमूल विधायक द्वारा पूछे गये सवाल के जवाब में पंचायत मंत्री प्रदीप मंजूदार ने सदन को बताया कि मनरेगा के तहत केंद्र पर राज्य का 6919.76 करोड़ बकाया है. उन्होंने बताया कि यहीं नहीं मनरेगा योजना के तहत श्रमिकों के मजदूरी का करीब 3731 करोड़ बकाया है. राज्य सरकार अपने खजाने से 100 दिन रोजगार योजना वाले श्रमिकों के बकाया का भुगतान कर रही है. पंचायत मंत्री ने सदन को बताया कि केंद्र सरकार की रिपोर्ट के अनुसार, वित्त वर्ष 2021 से 25 तक उत्तर प्रदेश सरकार को मनरेगा योजना के तहत 38 हजार 738 करोड़ आवंटित किये गये थे. पर केंद्र की ही रिपोर्ट के अनुसार, यूपी सरकार द्वारा 48 करोड़ 88 लाख करोड़ की गड़बड़ी की गयी है. इसी तरह बिहार सरकार को उक्त चार वर्षों में 24 हजार 4942.24 लाख करोड़ आवंटित किया गया था. पर बिहार सरकार द्वारा 17 करोड़ 76 लाख रुपये की गड़बड़ी की गयी है. वहीं महराष्ट्र को इन चार वर्षो में 12 हजार 28 करोड़ मिले थे. पर बिहार सरकार द्वारा 15 करोड़ 20 लाख रुपये की गड़बडी की गयी थी. इसी तरह पश्चिम बंगाल से वित्त वर्षों में 50 हजार 593 करोड़ आवंटित किये गये थे, जबकि इस छह सालों मात्र 9 करोड़ 20 लाख रुपये की गड़बड़ी हुई. जो उक्त अन्य राज्यों की तुलना में काफी कम है. इसके बाद भी मनरेगा योजना के तहत हमारे राज्य के बकाये का भुगतान नहीं किया जा रहा है.
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