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NCPCR का IT मंत्रालय से उल्लू ऐप के खिलाफ कार्रवाई की मांग, जानें क्या है मामला

NCPCR: आपको बता दें इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना एवं प्रौद्योगिकी मंत्रालय को लिखे पत्र में एनसीपीसीआर प्रमुख प्रियांक कानूनगो ने कहा कि स्थिति की गंभीरता को देखते हुए आयोग ने मंत्रालय से मामले की जांच करने और कानून के अनुसार उल्लू ऐप, गूगल प्ले स्टोर और आईओएस के खिलाफ उचित कार्रवाई करने को कहा है.

NCPCR Wrote a Letter to Remove Ullu App From Play Store: गूगल के बाद अब एनसीपीसीआर ने एक ऐप पर कार्रवाई की है. दरअसल राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग (एनसीपीसीआर) ने आईटी मंत्रालय से उल्लू ऐप के खिलाफ कार्रवाई करने को कहा है, जिसने स्पष्ट यौन दृश्यों और कथानक के साथ स्कूली बच्चों को निशाना बनाया है.

इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना एवं प्रौद्योगिकी मंत्रालय को पत्र

आपको बता दें इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना एवं प्रौद्योगिकी मंत्रालय को लिखे पत्र में एनसीपीसीआर प्रमुख प्रियांक कानूनगो ने कहा कि स्थिति की गंभीरता को देखते हुए आयोग ने मंत्रालय से मामले की जांच करने और कानून के अनुसार उल्लू ऐप, गूगल प्ले स्टोर और आईओएस के खिलाफ उचित कार्रवाई करने को कहा है. एनसीपीसीआर प्रमुख ने कहा कि उन्हें एक कार्यकर्ता समूह से शिकायत मिली है, जो एक्स (पुराना नाम ट्विटर) पर , ‘जेम्स ऑफ बॉलीवुड’ के नाम से सक्रिय है. कहा कि उल्लू आप प्ले स्टोर और आईओएस मोबाइल प्लेटफॉर्म दोनों पर उपलब्ध है और इसमें बेहद अश्लील और आपत्तिजनक सामग्री है, जो यह बच्चों सहित अपने ग्राहकों को गुप्त रूप से साझा करता है. अपने पत्र में, उन्होंने एक शो के स्क्रीनशॉट संलग्न किए जो स्कूली बच्चों के बीच यौन संबंधों को चित्रित करता है.

कानूनगो ने कहा कि ऐप प्ले स्टोर और ऐपल दोनों में आसानी से उपलब्ध है और अपने निजी समूह के लिए उपलब्ध किसी भी सामग्री को डाउनलोड करने या देखने के लिए केवाईसी की कोई आवश्यकता नहीं है. “यह देखा गया है कि इन अनुप्रयोगों में केवाईसी या किसी अन्य आयु सत्यापन प्रणाली का अभाव है, जिससे नाबालिगों के लिए स्पष्ट सामग्री आसानी से उपलब्ध हो जाती है. इस तरह की पहुंच को यौन अपराधों से बच्चों का संरक्षण (POCSO) अधिनियम, 2012 की धारा 11 का सीधा उल्लंघन माना जाता है.” उन्होंने ऐसे ऐप्स को नियंत्रित करने वाले नियमों और नीति प्रमाणन के बारे में भी जानकारी मांगी.

10 दिनों के भीतर रिपोर्ट मांगे रिपोर्ट

आपको जानकारी के लिए यह भी बता दें कि पत्र में यह भी कहा गया है. “इसके अलावा, यह अनुरोध किया जाता है कि बच्चों को ऐसे ऐप्स तक पहुंचने से बचाने के लिए कानून के अनुसार Google Play Store और iOS पर उपलब्ध इस प्रकार के वीडियो स्ट्रीम करने वाले सभी एप्लिकेशन के लिए नो योर कस्टमर (केवाईसी) प्रक्रियाओं को अनिवार्य करने के लिए कड़े उपाय लागू किए जाएं” उन्होंने कहा, “उपरोक्त के मद्देनजर, आपसे अनुरोध है कि इस पत्र के जारी होने के 10 दिनों के भीतर आयोग को अपेक्षित जानकारी के साथ मामले में एक विस्तृत रिपोर्ट साझा करें.”

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Vikash Kumar Upadhyay
Vikash Kumar Upadhyay
Journalist at Prabhat Khabar Digital, Gold Medalist alumnus MGCU, Former intern Tak App, Biz Tak and DB Digital. Ex reporter INS24 News. Former media personnel District Information and Public Relation Department, Motihari. Former project partner and planner Guardians of Champaran. Very keen to work with the best faculties and in challenging circumstances. I have really a big dream to achieve and eager to learn something new & creative. More than 3 years of experience in Desk and Reporting.

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