IND vs ENG: लॉर्ड्स में इंग्लैंड के खिलाफ तीसरे टेस्ट के तीसरे दिन शुभमन गिल की आक्रामकता चर्चा का विषय बन गई. भारतीय कप्तान ने दिन के अंत में इंग्लैंड के सलामी बल्लेबाज जैक क्रॉली पर जमकर निशाना साधा, क्योंकि उन्हें लगा कि यह खिलाड़ी ज्यादा ओवर खेलने से बचने के लिए समय बर्बाद कर रहा है. सभी को हैरानी इस बात से हुई कि आमतौर पर चुप रहने वाले गिल, क्रॉली पर कठोर शब्दों और इशारों का इस्तेमाल कर रहे थे. कुछ लोगों को लगा कि गिल की आक्रामकता में विराट कोहली की झलक थी, जबकि कई लोगों ने उन पर पूर्व भारतीय कप्तान की नकल करने का आरोप लगाया. Gill can never become Sourav Ganguly Kohli or Dhoni former Indian star said bluntly
गिल को किसी की नकल करने की जरूरत नहीं
गिल की आक्रामकता के बारे में बात करते हुए पूर्व भारतीय खिलाड़ी हरभजन सिंह ने कहा कि हर किसी का व्यवहार अलग होता है और गिल, सौरव गांगुली, विराट कोहली या एमएस धोनी नहीं बन सकते. हरभजन ने स्पोर्ट्स तक से कहा, ‘हर खिलाड़ी का खेलने का तरीका अलग होता है. एमएस धोनी अलग थे, अनिल कुंबले अलग थे, सौरव गांगुली अलग थे. कपिल देव अलग थे. हर किसी का स्वभाव और तरीका अलग होता है. अगर मैं प्रसन्ना या सकलैन मुश्ताक की तरह गेंदबाजी करना चाहता हूं या इसके विपरीत, तो यह संभव नहीं है.’
📍 Manchester #TeamIndia have arrived for the 4th #ENGvIND Test 👌👌 pic.twitter.com/vS6fxEoEAq
— BCCI (@BCCI) July 20, 2025
मैनचेस्टर में कड़ा मुकाबला होने की उम्मीद
उन्होंने कहा, ‘शुभमन गिल की अपनी शैली है. वह सीखेंगे, जाहिर है, वह एक युवा खिलाड़ी हैं. वह सौरव गांगुली, विराट कोहली या एमएस धोनी नहीं हो सकते और उन्हें ऐसा होने की जरूरत भी नहीं है. वह शुभमन गिल का सर्वश्रेष्ठ संस्करण बनना चाहते हैं जो आगे चलकर अपनी विरासत छोड़ सके. उनमें क्षमता है कि वह भारत को शीर्ष पर ले जा सकते हैं.’ भारत बनाम इंग्लैंड पांच मैचों की टेस्ट सीरीज चौथे मैच की ओर बढ़ रही है, जो 23 जुलाई से मैनचेस्टर में शुरू होने वाला है. भारतीय टीम इस मुकाबले के लिए मैनचेस्टर पहुंच चुकी है.
लॉर्ड्स टेस्ट में टीम इंडिया का टूटा सपना
लॉर्ड्स टेस्ट में 22 रनों के मामूली अंतर से जीत के साथ इंग्लैंड सीरीज में 2-1 से आगे है. भारत ने लीड्स में 5 विकेट से हार के साथ अपने अभियान की शुरुआत की, लेकिन बर्मिंघम में दूसरे टेस्ट के बाद टीम ने शानदार वापसी करते हुए सीरीज 1-1 से बराबर कर ली. हालांकि ये बराबरी ज्यादा दिनों तक कायम नहीं रही. लॉर्ड्स क्रिकेट ग्राउंड पर भारत की उम्मीदों को उस समय गहरा झटका लगा, जब टीम 22 रन के मामूली अंतर से हार गई. दूसरी पारी में टॉप ऑर्डर के बल्लेबाजों के खराब प्रदर्शन का खामियाजा टीम को भुगतना पड़ा और टीम 193 रन के लक्ष्य को हासिल नहीं कर पाई. अब चौथा टेस्ट भारत के लिए करो या मरो वाला मुकाबला था.
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