IND vs ENG: भारत और इंग्लैंड के बीच तल रही एंडरसन-तेंदुलकर सीरीज अब रोमांचक मोड़ पर आकर खड़ी हो गई है. पांच मैचों की इस सीरीज के अब तक चार मुकाबले पूरे हो चुके हैं. इंग्लैंड सीरीज में 2-1 से आगे चल रही है. इस रोमांचक सीरीज का अंतिम मुकाबला केनिंग्टन ओवल में खेला जाएगा. 31 जुलाई से होने वाले इस आखिरी और निर्णायक टेस्ट मैच में टीम इंडिया के लिए जीत जरूरी है. हालांकि इस मैदान पर भारतीय टीम का रिकॉर्ड चिंताजनक रहा है, जिससे मुकाबले के और भी चुनौतीपूर्ण होने के आसार हैं. टीम इंडिया के सामने आखिरी टेस्ट में इंग्लैंड को हराकर सीरीज बराबरी पर खत्म करने की मुश्किल चुनौती है.

IND vs ENG: ओवल में भारत का सफर
भारत ने केनिंग्टन ओवल में अब तक कुल 15 टेस्ट मैच खेले हैं. जिसमें से 14 मुकाबले भारत और इंग्लैंड के बीच खेले गए हैं, वहीं एक मैच वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप का फाइनल भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच हुआ था. इन मुकाबलों में भारत को सिर्फ दो बार जीत हासिल हुई है, जबकि छह बार उसे हार का सामना करना पड़ा है. शेष सात मुकाबले ड्रॉ पर खत्म हुए हैं. यह आंकड़े बताते हैं कि यह मैदान भारत के लिए आसान नहीं रहा है.
भारत ने इस मैदान पर अपना पहला टेस्ट मुकाबला अगस्त 1936 में खेला था, जिसमें उसे इंग्लैंड से 9 विकेट से हार मिली थी. इसके बाद 1946 और 1952 में हुए मुकाबले ड्रॉ रहे, लेकिन 1959 में भारत को पारी और 27 रन से करारी शिकस्त झेलनी पड़ी.
1971 में पहली जीत
भारत को ओवल में पहली जीत साल 1971 में मिली थी. यह जीत भारतीय क्रिकेट इतिहास के स्वर्णिम पलों में गिनी जाती है. अजित वाडेकर की कप्तानी में भारत ने इंग्लैंड को 4 विकेट से हराकर विदेशों में अपनी पहली बड़ी टेस्ट जीत दर्ज की थी. यह जीत उस समय भारतीय क्रिकेट के लिए मील का पत्थर साबित हुई थी.
हार का एक लंबा सिलसिला
1979 से लेकर 2007 तक भारत ने यहां पांच टेस्ट मैच खेले जो सभी ड्रॉ रहे. इन वर्षों में भारत ने संघर्ष किया, लेकिन जीत से दूरी बनी रही. इसके बाद 2011 में हार का सिलसिला शुरू हुआ, जब इंग्लैंड ने भारत को पारी और 8 रन से हराया. 2014 में भारत को फिर से पारी और 244 रन से हार मिली, जो उस समय उसकी सबसे बड़ी हारों में से एक थी. 2018 में भी भारत को 118 रन से शिकस्त का सामना करना पड़ा.
2021 की ऐतिहासिक जीत
हालांकि 2021 में भारत ने ओवल में अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करते हुए इंग्लैंड को 157 रन से मात दी. यह जीत टीम इंडिया के लिए इस मैदान पर अब तक की सबसे बड़ी जीत थी. उस मुकाबले में गेंदबाजों और बल्लेबाजों दोनों ने शानदार प्रदर्शन किया था, जिसने भारत के आत्मविश्वास को नई ऊर्जा दी.
WTC फाइनल की निराशा
जुलाई 2023 में भारत ने ओवल में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप (WTC) का फाइनल खेला था. हालांकि, इस खिताबी मुकाबले में भारत को 209 रन से हार झेलनी पड़ी और एक और निराशाजनक रिकॉर्ड ओवल में जुड़ गया.
फिर से इतिहास रचने की चुनौती
अब जब मौजूदा टेस्ट सीरीज का निर्णायक मुकाबला इसी मैदान पर खेला जाना है, तो भारत के सामने एक बार फिर इतिहास को बदलने की चुनौती होगी. इंग्लैंड जहां घरेलू परिस्थितियों और आत्मविश्वास के साथ उतरेगा, वहीं भारत को अपने रिकॉर्ड से ऊपर उठकर प्रदर्शन करना होगा. टीम इंडिया के पास मौका है कि वह न सिर्फ सीरीज को बराबरी पर खत्म करे, बल्कि ओवल में अपने खराब रिकॉर्ड को भी बेहतर बनाए.
भारतीय कप्तान और टीम प्रबंधन को इस ऐतिहासिक मैदान पर जीत दर्ज कर एक नई इबारत लिखने के लिए रणनीति और संयम के साथ उतरना होगा. अगर भारत यहां जीत हासिल करता है, तो यह न केवल सीरीज में सम्मान बचाएगा बल्कि भविष्य के लिए एक सकारात्मक संदेश भी देगा.
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