हसपुरा. थाना क्षेत्र के नरसन गांव के दिवंगत शिक्षक की विधवा पत्नी को झांसे में लेकर रिश्ते के दामाद द्वारा बैंक अकाउंट में अपना मोबाइल नंबर जुड़वा कर पेंशन व अनुदान के 41 लाख रुपये निकालने का मामला प्रकाश में आया है. इतना ही नहीं, शातिर दामाद ने महिला के बैंक अकाउंट में अपनी पत्नी का नाम जुड़वा लिया. इसका खुलासा तब हुआ, जब विधवा महिला मानमती देवी अपना पासबुक अपडेट करवाने एसबीआइ दाउदनगर गयीं. जैसे ही महिला को इस धोखाधड़ी का पता चला, इसकी लिखित शिकायत हसपुरा थाने में की, लेकिन आवेदन देने के 13 दिन बीत जाने के बाद भी कार्रवाई तो दूर की बात है, एफआइआर भी दर्ज नहीं हो पायी है. पीड़ित महिला कभी हसपुरा तो कभी औरंगाबाद साइबर थाने का दौड़ लगा रही है. हसपुरा थाने में दिये आवेदन में पीड़िता ने बताया है कि उनके पति रामसकल राम सरकारी सेवा में शिक्षक थे, जिनकी मृत्यु पद पर रहते हुए पिछले साल जुलाई में हो गयी थी. मृत्यु के बाद उनका रिटायरमेंट सहित अन्य फंड का पैसा आनेवाला था, जिसके लिए महिला का बैंक में खाता खुलवाने के लिए देवर के दामाद गोह के बंदेया थाने के बाला बिगहा निवासी रोहित कुमार महिला को बहला-फुसला कर अपने साथ एसबीआइ दाउदनगर की शाखा में ले गया. वहां रोहित ने महिला के खाते से अपना मोबाइल नंबर लिंक करवा लिया और नॉमिनी में अपनी पत्नी मीरा कुमारी का नाम डलवा दिया, क्योंकि महिला अनपढ़ है. इसलिए उसे कुछ पता नहीं चल पाया. इतना ही नहीं, बैंक केवाइसी के नाम पर एटीएम अपने पते पर मंगवा लिया. इसके बाद फोनपे ऐप से पिछले पांच महीनों में खाते से 41 लाख रुपये की निकासी कर ली. महिला ने बताया कि मेरा कोई पुत्र नहीं है. पति के पेंशन व रिटायरमेंट ही मेरे जीवन का आधार है. सारी जमापूंजी खत्म हो गयी, लेकिन हसपुरा थाना कोई कार्रवाई नहीं कर रहा है. इस संबंध में थानाध्यक्ष नरोत्तम ने बताया कि आवेदन मिला है. होली के कारण व्यस्तता थी. जांच के बाद प्राथमिकी दर्ज कर उचित कार्रवाई की जायेगी.
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