– विश्व उच्च रक्तचाप दिवस पर जेएलएनएमसीएच के शिशुरोग विभाग में सेमिनार का आयोजन
वरीय संवाददाता, भागलपुर
विश्व उच्च रक्तचाप दिवस पर जवाहरलाल नेहरू मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल (जेएलएनएमसीएच) के शिशु रोग विभाग में बच्चों में होने वाले उच्च रक्तचाप या हाइपरटेंशन विषय पर सेमिनार हुआ. कार्यक्रम का उद्देश्य बच्चों में उच्च रक्तचाप को लेकर चिकित्सकों व छात्रों में जागरूकता बढ़ाना है. कार्यक्रम की अध्यक्षता शिशु रोग विभाग के विभागाध्यक्ष डॉ अंकुर प्रियदर्शी ने की. सेमिनार में पीजी छात्र डॉ निशांत ने बच्चों में हाइपरटेंशन विषय पर विस्तृत प्रस्तुति दी. उन्होंने बच्चों में हाइपरटेंशन के कारणों, लक्षणों और उपचार के विभिन्न पहलुओं पर प्रकाश डाला. डॉ निशांत ने बताया कि बच्चों में हाइपरटेंशन अपेक्षाकृत दुर्लभ होता है, लेकिन यदि होता है तो अधिकतर मामलों में यह सेकेंडरी हाइपरटेंशन होता है. जो किसी अन्य रोग, विशेष रूप से गुर्दे से संबंधित बीमारियों जैसे ग्लोमेरुलोनेफ्राइटिस, नेफ्रोटिक सिंड्रोम या क्रोनिक किडनी डिजीज के कारण उत्पन्न होता है.
समय रहते निदान व उपचार जरूरी
शिशुरोग विभाग के विभागाध्यक्ष डॉ अंकुर प्रियदर्शी ने कहा कि बच्चों में हाइपरटेंशन को लेकर जागरूकता की आवश्यकता है, क्योंकि समय रहते इसका निदान और उपचार न किया जाए तो यह भविष्य में गंभीर स्वास्थ्य समस्याओं का कारण बन सकता है. इस अवसर पर डॉ राकेश कुमार ने बताया कि बच्चों में होने वाला हाइपरटेंशन अधिकतर मामलों में अस्थायी होता है. मूल बीमारी के उपचार के बाद ब्लड प्रेशर सामान्य हो जाता है, इसलिए दवाओं की दीर्घकालिक आवश्यकता बहुत कम होती है. सेमिनार में डॉ ब्रजेश, डॉ पीके यादव, डॉ अनिल, डॉ गौरव, डॉ रविशेखर, डॉ आलोक रंजन सहित शिशु रोग विभाग के अन्य चिकित्सक एवं सभी स्नातकोत्तर छात्र-छात्राएं उपस्थित रहे.
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