वरीय संवाददाता, मुजफ्फरपुर एमसीएच के गायनी वार्ड में नवजात बच्चों को सभी इंजेक्शन वार्ड में नहीं लगाने से अभिभावकों को परेशानी उठानी पड़ रही है. बच्चा पैदा होते ही 24 घंटे के अंदर हैपेटाइटिस बी, विटामिन व बीसीजी लगाने होते हैं. जहां पर गायनी वार्ड में विटामिन-के व हैपेटाइटीस-बी के टीके तो लगा दिए जाते हैं, लेकिन बीसीजी का इंजेक्शन लगवाने के लिए पीपी सेंटर में भेजा जा रहा है. इससे अभिभावकों को नवजात बच्चे को गर्मी में बाहर लेकर जाने में परेशानी आती है. जन्म दिये बच्चे की मां ने बताया कि उनके बच्चे को दो टीके तो लेबर रूम में लगा दिये, जबकि तीसरे टीका लगाने के लिए पीपी सेंटर भेज दिया गया. उन्होंने बताया कि बच्चे को बाहर लाने पर बीमार होने का खतरा बना रहता है. अन्य अस्पतालों में लेबर रूम में ही तीनों टीके लगते हैं. जबकि छुट्टी के दिन होने पर तीनों टीके लेबर रूम में लगा दिए जाते हैं, जबकि अन्य दिनों में लेबर रूम की बजाय पीपी सेंटर पर भेज दिया जाता है.
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