संवाददाता,पटना वाणिज्य-कर विभाग के राज्यव्यापी औचक वाहन जांच अभियान के दौरान एक बड़े कर चोरी सिंडिकेट का मामला सामने आया है.विभाग ने जांच के लिए 40 टीमों का गठन गया.इस क्रम में बिहारशरीफ अंचल के अधिकारियों द्वारा एक माचिस से लदे वाहन की जांच की गयी. इसमें इ-वे बिल में माल का गंतव्य नवादा के हिसुआ से रांची दिखाया गया था, लेकिन संदेह होने पर विभाग के अधिकारियों ने वाहन की गहन तलाशी ली.यह पूरा अभियान आयुक्त-सह-सचिव संजय कुमार सिंह के निर्देश पर चलाया गया. कर्टेन के रूप में माचिस की पैकिंग,ट्रक में सिगरेट लदा था जांच में सामने आया कि कर्टेन के रूप में माचिस की पैकिंग की गयी थी, जबकि ट्रक में वास्तविक रूप से सिगरेट लदा हुआ था. माेबाइल जांच अभियान की निगरानी पटना के कमांड एंड कंट्रोल सेंटर से की जा रही थी. दस्तावेजों की जांच से यह स्पष्ट हुआ कि यह मामला न केवल गंभीर कर चोरी से जुड़ा है , बल्कि इसमें बड़े सिंडिकेट की भी संलिप्तता हो सकती है. व्यवसाय के निबंधित पते पर कुछ नहीं मिला जांच के बाद व्यवसाय का पता लगाने के लिए निबंधित व्यवसाय स्थल का निरीक्षण किया गया, जहां व्यवसाय अस्तित्वहीन पाया गया.जांच में मिले लीड के आधार पर आयुक्त के निर्देश पर अपर आयुक्त (प्रशासन), मगध प्रमंडल को जानकारी दी गयी, जिनके निर्देश पर नवादा अंचल के अधिकारियों ने हिसुआ में एक अति हाइटेक सिगरेट निर्माण फैक्ट्री का भंडाफोड़ किया.गौरतलब है कि इस फर्म ने पूरे वित्तीय वर्ष में केवल 1.60 लाख रुपये की बिक्री दिखायी थी, जबकि मौके पर करोड़ों की सिगरेट निर्माण की पुष्टि हुई है. कर चोरी के बड़े सिंडिकेट की संलिप्तताा मामले की गंभीरता को देखते हुए वाणिज्य-कर विभाग, नवादा द्वारा जिला प्रशासन को तत्काल सूचना दी गयी है.इसमें पटना सिटी एक सिंडिकेट की संलिप्तता होने की भी आशंका विभाग को है.अधिकारियों को यह संदेह है कि इस पूरे रैकेट का मुख्य कर्ताधर्ता पटना सिटी का सिंडिकेट हो सकता है.विभागीय सूत्रों के अनुसार, इस कर चोरी में कई राज्यों तक फैले नेटवर्क की आशंका है और अगली कार्रवाई में अन्य ठिकानों पर छापेमारी की तैयारी चल रही है.
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