फुलवारीशरीफ. मौर्य बिहार कॉलोनी निवासी 13 दिनों से लापता मंजेश कुमार का शव शनिवार शाम कॉलोनी के पीछे नाले से बरामद होने से इलाके में सनसनी फैल गयी. मंजेश कुमार पटना एम्स के सामने दवा खाना में काम करता था. शव मिलते ही परिजनों और मोहल्लेवालों का गुस्सा फूट पड़ा. पत्नी दो बच्चे परिवार के अन्य लोग दहाड़ मार कर विलाप करने लगे. वहीं दर्जनों लोगों की भीड़ ने मौके पर जमकर हंगामा किया और फुलवारीशरीफ थाना पुलिस से तीखी झड़प हो गयी. आक्रोशित लोगों ने आरोप लगाया कि मंजेश की हत्या कर शव को नाले में फेंका गया है और पुलिस अब तक हत्यारों को पकड़ने में नाकाम रही है. लोगों का कहना था कि पुलिस को घटना के बारे में पहले जानकारी दे दी गयी थी कि वह लापता है लेकिन पुलिस उसे बरामद नहीं कर पाये. घटनास्थल पर पहुंचे फुलवारी शरीफ थानाध्यक्ष गुलाम मोहम्मद शाहबाज आलम ने स्थिति को नियंत्रित करने की कोशिश की. लेकिन गुस्साए लोगों ने पुलिस से धक्का-मुक्की शुरू कर दी. मौके पर तनाव का माहौल बना रहा. मालूम हो कि मंजेश कुमार 6 जुलाई की शाम रहस्यमय परिस्थितियों में लापता हो गये थे. परिजनों ने फुलवारी शरीफ थाना में गुमशुदगी की एफआइआर दर्ज करायी थी. पुलिस ने मोबाइल लोकेशन के आधार पर शिवाला से नेऊरी के बीच लगातार खोजबीन की. शनिवार को भी उनका मोबाइल लोकेशन शिवाला में ही ट्रेस किया गया था. इसी बीच शाम को कॉलोनी के पीछे से गुजर रहे एक राहगीर ने नाले में शव देखा. सूचना मिलते ही पुलिस मौके पर पहुंची और शव को बाहर निकाला गया. पहचान मंजेश कुमार के रूप में हुई. परिजनों का आरोप है कि यह साधारण मौत नहीं बल्कि सुनियोजित हत्या है. उनका कहना है कि मंजेश को अगवा कर उसकी हत्या की गई और साक्ष्य छुपाने के लिए शव को नाले में फेंका गया. थानाध्यक्ष का कहना है कि पोस्टमार्टम रिपोर्ट से स्पष्ट होगा कि मौत डूबने से हुई या हत्या कर शव को फेंका गया है. फिलहाल इलाके में भारी पुलिस बल की तैनाती कर दी गयी है.
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